प्रदेशभर में अरावली बचाने के मुद्दे पर कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन जोर-शोर से जारी है, लेकिन पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने कुछ जिला अध्यक्षों के रवैए पर कड़ी नाराजगी जताई है। अब पार्टी 8 ऐसे जिला अध्यक्षों को नोटिस देने की तैयारी कर रही है, जिन जिलों में अब तक प्रदर्शन नहीं हुए हैं।
कांग्रेस के स्थापना दिवस पर दिए गए बयान में डोटासरा ने कहा, “अरावली को बचाने के लिए राजस्थान कांग्रेस पूरे प्रदेश में प्रदर्शन कर रही है। मैं रोजाना रात को रिपोर्ट लेकर सोता हूं, लेकिन आठ जिलों में अभी तक कोई प्रदर्शन नहीं हुआ। ऐसे जिलाध्यक्षों को नोटिस मिलेगा।”
बीजेपी सरकार पर लगाए गंभीर आरोपडोटासरा ने इस मौके पर बीजेपी सरकार की कार्यशैली पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि बीजेपी का कोई भी मंत्री, विधायक या अधिकारी ईमानदारी से काम नहीं कर रहा। उन्होंने OBC आयोग और उसकी रिपोर्ट पर भी चिंता जताई और कहा कि सरकार ने आयोग को आवश्यक संसाधन नहीं दिए। 2022 का आदेश था कि सरकार में आते ही आयोग बनाया जाएगा, लेकिन इसमें देरी हुई।
कांग्रेस की कानूनन उपलब्धियों को कमजोर करने का आरोपपूर्ववर्ती यूपीए सरकार की उपलब्धियों को याद करते हुए डोटासरा ने कहा, “कांग्रेस पार्टी ने जनता के अधिकारों को सुनिश्चित करने वाले मजबूत कानून बनाए थे, जैसे राइट टू फूड, राइट टू एजुकेशन, राइट टू वर्क और राइट टू इनफॉर्मेशन। आज उन्हें कमजोर किया जा रहा है। महात्मा गांधी का नाम बदलने में कोई दिक्कत नहीं है, क्योंकि ये लोग महात्मा गांधी को मानने वाले नहीं, बल्कि नाथूराम गोडसे को मानने वाले हैं।”
उन्होंने आगे कहा कि मौजूदा बदलाव के बाद अब लोगों को काम मांगने का अधिकार नहीं है। काम मिलने का निर्णय केंद्र और राज्य सरकारों की मर्जी पर होगा कि कहां मदद दी जाए और कहां काम दिया जाए।
इस पूरे घटनाक्रम से यह साफ हो गया है कि कांग्रेस प्रदेश में संगठनात्मक अनुशासन और बीजेपी सरकार की नीतियों को लेकर मुखर है, और पार्टी नेतृत्व अब जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए कड़े कदम उठाने को तैयार है।