अर्शदीप सिंह के इस ओवर को कभी नहीं भूल पाएगा आस्ट्रेलिया, जबड़े से छीनी जीत

बेंगलुरु। आस्ट्रेलिया के खिलाफ टी-20 के आखिरी मैच में अपनी गेंदबाजी से निराश हो चुके तेज गेंदबाज अर्शदीप ने अपने अंतिम ओवर में वो किया जिसकी किसी को उम्मीद नहीं थी। अपनी बेहतरीन और शानदार गेंदबाजी की बदौलत उन्होंने आस्ट्रेलिया के मुँह से जीत को छीन कर भारत को सौंप दी। पहले तीन ओवर में 37 रन लुटाने के बाद अंतिम ओवर में अर्शदीप सिंह ने शानदार वापसी की और 10 रन बचाते हुए भारत को जीत दिलाई। तेज गेंदबाज अर्शदीप सिंह ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया के कप्तान मैथ्यू वेड को आउट करने के बाद उन्हें विश्वास हो गया था कि भारत पांचवाँ और अंतिम टी20 अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच जीत सकता है। अर्शदीप को चिन्नास्वामी स्टेडियम की मुश्किल पिच पर अंतिम ओवर में 10 रन का बचाव करने का जिम्मा सौंपा गया।

अर्शदीप सिंह ने शानदार गेंदबाजी करते हुए आखिरी ओवर में 10 रन बचा लिए। उन्होंने टीम इंडिया को छह रन से जीत दिलाई। अर्शदीप ने 20वें ओवर में ऑस्ट्रेलियाई कप्तान मैथ्यू वेड को आउट कर भारत की जीत पक्की कर दी थी। उन्होंने पहली और दूसरी गेंद पर वेड को रन नहीं बनाने दिया। तीसरी गेंद पर उन्हें आउट कर दिया। चौथी गेंद पर जेसन बेहरेनडॉर्फ एक रन ही ले सके। अब दो गेंद पर ऑस्ट्रेलिया को नौ रन बनाने थे। नाथन एलिस ने पांचवीं गेंद पर एक रन लिया। उनके बाद आखिरी गेंद पर बेहरेनडॉर्फ ने भी एक ही रन लिया। इस तरह टीम इंडिया छह रन से मैच जीत गई।

बाएं हाथ के इस तेज गेंदबाज ने अपने बाउंसर और यार्कर का अच्छा इस्तेमाल करके भारत को 6 रन से जीत दिलाने में अहम भूमिका निभाई। इससे भारत ने पांच मैच की सीरीज 4-1 से जीती। अर्शदीप ने तीसरी गेंद पर वेड को श्रेयस अय्यर के हाथों कैच करा कर भारत को वापसी दिलाई। इस तेज गेंदबाज को लगता है कि इससे भारत का पलड़ा भारी हो गया था। उन्होंने मैच के बाद कहा, ‘मुझे नहीं लगता कि परिस्थितियां गेंदबाजों के अनुकूल थी क्योंकि मैंने बहुत ढीली गेंदें की।’

अर्शदीप से पूछा गया कि जब कप्तान सूर्यकुमार यादव ने उन्हें अंतिम ओवर करने के लिए दिया तो वह कैसा महसूस कर रहे थे, उन्होंने कहा, ‘मैं केवल यही सोच रहा था कि मेरे पास गंवाने के लिए कुछ भी नहीं है क्योंकि मैं पहले ही काफी रन लुटा चुका था। सूर्या भाई ने भी यही बात कही कि देखते हैं क्या होता है।’ उन्होंने कहा, ‘मुझे लग रहा था कि मैं बाउंसर करके वेड के दिमाग में संदेह पैदा कर सकता हूं और जब मैंने उसका विकेट लिया तो मुझे विश्वास हो गया था कि हम मैच जीत सकते हैं।’

इस तेज गेंदबाज ने सूर्यकुमार यादव के नेतृत्व कौशल की भी प्रशंसा की। उन्होंने कहा, ‘सूर्या भाई हमें काफी स्वतंत्रता देते हैं। हम इस सीरीज में पहले बल्लेबाजों के लिए अनुकूल पिचों पर खेले हैं लेकिन वह कहते रहे कि जहां चुनौतियां हैं वहां अवसर भी जरूर होंगे।’ अर्शदीप ने कहा, ‘वह हमसे कहते रहे की परिणाम को लेकर चिंता मत करो तथा प्रक्रिया पर ध्यान दो। उन्होंने हम पर कभी दबाव नहीं बनाया। उन्होंने मुझसे कहा कि डेथ ओवरों में मैं जिस तरह की गेंदबाजी करना चाहता हूं वैसे ही करूं और वह उसका पूरा समर्थन करेंगे।’

अर्शदीप ने एक सप्ताह के अंदर शुरू होने वाले दक्षिण अफ्रीका के दौरे को बारे में कहा, ‘हमारा ध्यान अभी वर्तमान सीरीज पर था। हम बहुत आगे के बारे में नहीं सोच रहे थे। एक बार जब हम वहां (दक्षिण अफ्रीका) पहुंच जाएंगे तो वहां की परिस्थितियों को देखकर ही अपनी रणनीति तय करेंगे।’

रवि बिश्नोई रहे प्लेयर ऑफ द सीरीज

लेग स्पिनर रवि बिश्नोई ने पांचवें टी-20 में 29 रन देकर 2 विकेट झटके। उन्होंने सीरीज के हर मैच में टीम को सफलता दिलाई। 5 मैचों में 9 विकेट लेने के लिए उन्हें प्लेयर ऑफ द सीरीज का अवॉर्ड मिला। हाई स्कोरिंग सीरीज में उन्होंने महज 8.20 की इकोनॉमी से रन खर्चे और टीम इंडिया के नए रिस्ट स्पिनर बनकर उभरे।