शतरंज विश्व कप के फाइनल में पहुंचे 18 वर्षीय प्रज्ञानानंदा, नॉर्वे के मैग्नस कार्लसन से भिड़ेंगे

चेन्नई। अजरबैजान में चल रहे फिडे शतरंज विश्व कप के सेमीफाइनल में भारतीय ग्रैंडमास्टर आर प्रज्ञानानंदा ने सोमवार को दुनिया के तीसरे नंबर के खिलाड़ी फाबियानो करूआना को 3.5-2.5 से हरा दिया। यह मुकाबला एक टाई ब्रेक मैच रहा था। इस शानदार जीत के साथ ही उन्होंने फाइनल में अपना स्थान पक्का कर लिया।

दो गेम में 1-1 से बराबरी रहने के बाद 18 वर्षीय भारतीय प्रज्ञानानंदा ने बेहद रोमांचक टाई ब्रेकर में अमेरिका के दिग्गज ग्रैंडमास्टर फाबियानो करूआना को पछाड़ दिया। प्रज्ञानानंदा की इस जीत पर भारत के महान शतरंज खिलाड़ी विश्वनाथन आनंद ने भी खुशी जाहिर की है।

उन्होंने एक ट्वीट कर कहा है कि प्रैग (प्रज्ञानानंदा) फाइनल में पहुंच गया! उसने टाईब्रेक में फाबियानो करूआना को हराया और अब उसका सामना मैग्नस कार्लसन से होगा। क्या शानदार प्रदर्शन है! बता दें कि प्रज्ञानानंदा अब फाइनल में नॉर्वे के मैग्नस कार्लसन से भिड़ेंगे।

खेल मंत्री ने भी किया ट्वीट

प्रज्ञानानंदा की शानदार जीत पर खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने भी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने खुशी जाहिर करते हुए कहा है कि यह ऐतिहासिक जीत है। ग्रैंडमास्टर प्रज्ञानानंदा को फिडे विश्व कप के फाइनल में पहुंचने की बधाई। उन्होंने जबरदस्त खेल का प्रदर्शन किया। चेस वर्ल्ड कप में पहुंचने वाले वह दूसरे भारतीय बन गए हैं। भारत का यंग टैलेंट लगातार छाप छोड़ रहा है।

इस जीत के साथ, प्रगनानंद ने कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में खेलने के लिए भी पात्रता प्राप्त कर ली, जिसके विजेता मौजूदा विश्व चैंपियन और चीन के ग्रैंड मास्‍टर लिरेन डिंग को चुनौती देंगे। अंतर्राष्ट्रीय शतरंज महासंघ या फीडे के नियमों के अनुसार, विश्व कप में शीर्ष तीन खिलाड़ी कैंडिडेट्स टूर्नामेंट के लिए क्‍वालिफाई करते हैं। भारत ने विश्व कप ओपन वर्ग में कभी भी इतना अच्छा प्रदर्शन नहीं किया है। हालाँकि पूर्व विश्व चैंपियन विश्वनाथन आनंद ने पहले टूर्नामेंट जीता था लेकिन उस समय इसका प्रारूप बिल्‍कुल अलग था।

इस बार बाकू में चार भारतीय ग्रैंड मास्‍टर - प्रगनानंद, डी. गुकेश, अर्जुन एरिगैसी और विदित संतोष गुजराती - ने क्वार्टर फाइनल में जगह बनाई थी।