थॉमस कुक हुई दिवालिया, भारत के पर्यटन सेक्टर को होगा नुकसान

ब्रिटेन (Britain) की 178 साल पुरानी कंपनी थॉमसकुक (Thomas Cook) सोमवार को कर्ज का बोझ सहते-सहते आखिरकार दिवालिया (Bancrupt) हो गई। इसके साथ ही उसकी बुकिंग वाले छह लाख के करीब पर्यटक दुनियाभर में जहां तहां फंस गए। कंपनी ने ब्रिटेन के यूरोपीय संघ से अलग होने को लेकर जारी कश्मकश को इस स्थिति के लिए जिम्मेदार बताया। उसकी बुकिंग कम होने लगी थी और यही वजह है कि उसे निजी निवेशकों से 20 करोड़ पाउंड जुटाने में भी असफलता हाथ लगी। कंपनी का 2007 का विलय सौदा उसके लिए घातक रहा, इसके बाद से ही वह लगातार वित्तीय संकट से जूझती रही और आखिरकार सोमवार को उसने खुद को दिवालिया घोषित कर दिया। कंपनी ने दिवालिया होने से बचने के लिए निजी निवेशकों से 25 करोड़ डॉलर की राशि जुटाने की कोशिश की, लेकिन यह कोशि‍श कामयाब नहीं हुई। कंपनी के 22 हजार लोग बेरोजगार हो गए हैं। थॉमस कुक के विमान खड़े हो गए हैं और उसकी सभी ट्रैवल एजेंसियां बंद हो गई हैं। थॉमस कुक की शुरुआत 1841 में हुई थी। पहले यह ब्रिटेन में घरेलू यात्रियों को सेवा देती थी, बाद में विदेशी यात्राएं कराने लगी।

भारत के पर्यटन सेक्टर को होगा नुकसान

थॉमस कुक के कारोबार बंद होने से भारत के पर्यटन सेक्टर को भी नुकसान होगा। भारत आने वाले पर्यटकों की संख्या बुरी तरह से प्रभावित होगी, जिससे आनेवाले महीनों में देश की विदेशी मुद्रा आय पर बुरा असर पड़ेगा। पर्यटन उद्योग के सूत्रों के मुताबिक थॉमस कुक ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस जैसे देशों से मोटा खर्च करनेवाले पर्यटकों को भारत भेजती थी। ब्रिटेन, जर्मनी और इटली जैसे देशों में थॉमस कुक की अच्छी उपस्थिति थी, जोकि भारत के लिए प्रमुख स्रोत बाजार हैं।

भारत में गोवा की ट्रैवल ऐंड टूरिज्म असोसिएशन ने बताया कि थॉमस कुक के दिवालिया होने से गोवा में ब्रिटेन से आने वाले पर्यटकों की भारी कमी हो सकती है। असोसिएशन के अध्यक्ष साविओ मेसिह ने कहा, 'पिछले पर्यटन सत्र के दौरान ब्रिटेन से 30,000 पर्यटक गोवा आए थे। इनमें ज्यादातर थॉमस कुक की बुकिंग के जरिये ही गोवा पहुंचे। कंपनी सप्ताह में सातों दिन उड़ाने संचालित करती थी, जिसमें प्रत्येक विमान में 300 यात्री होते हैं।’ उन्होंने कहा कि ब्रिटेन के पर्यटक लंबे समय तक गोवा में रुकते हैं। ये पर्यटक औसतन 14 रातें गोवा में बिताते हैं। थॉमक कुक के दिवालिया होने के बाद ब्रिटेन के पर्यटकों की संख्या में 50 प्रतिशत तक कमी आ सकती है, क्योंकि दूसरी एयरलाइनों में इतने यात्रियों को जगह मिलनी मुश्किल है।'

दिल्ली की 24X7 ट्रैवल्स डॉट कॉम के निदेशक हरजिंदर सिंह ने न्यूज एजेंसी आईएएनएस को बताया, 'थॉमस कुक के बंद होने से निश्चित रूप से भारत आनेवाले पर्यटकों की संख्या घटेगी। समूचा पर्यटन उद्योग फिलहाल संघर्ष कर रहा है।'
नवीनतम आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, भारत आनेवाले कुल विदेशी पर्यटकों में ब्रिटेन की हिस्सेदारी अगस्त 2019 में 8.01 फीसदी थी। शीर्ष यूरोपीय स्रोत बाजारों में जर्मनी के पर्यटक पिछले महीने कुल विदेशी पर्यटकों में 1.85 फीसदी रहे। अगस्त 2019 में कुल एफटीए 7,98,587 रहा, जबकि अगस्त 2018 में यह 7,86,003 था।'

वैश्विक मंदी का असर पर्यटन क्षेत्र पर भी हो रहा है और आने वाले महीनों में विदेशी पर्यटकों की वृद्धि दर भी प्रभावित होगी। इसके साथ ही दुनिया की पर्यटन कंपनी थॉमस कुक दिवालिया होने जा रही है, जिससे भारतीय पर्यटन कारोबार को कठिन समय का सामना करना पड़ेगा।

भारतीय कंपनी पर असर नहीं

थॉमस कुक इंडिया ने एक बयान जारी कर कहा है कि यहां कंपनी की वित्तीय स्थिति मजबूत है। दरअसल थॉमस कुक इंडिया का 77 फीसदी हिस्सा 2012 में कनाडा के ग्रुप फेयरफैक्स फाइनेंशियल होल्डिंग ने खरीद लिया था। तब से थॉमस कुक यूके का थॉमस कुक इंडिया में कोई हिस्सा नही है।

थॉमसकुक के मुख्य कार्यकारी अधिकारी पीटर फेंकहौउजर ने कहा, 'यह मेरे और कंपनी बोर्ड के बाकी सदस्यों के लिए गहरे खेद का विषय है कि हम सफल नहीं हो पाए। यह कंपनी के लिए बहुत बुरा दिन है।'

कंपनी यात्रा संचालक होने के साथ ही एयरलाइन भी चलाती है। दिवालिया होने के साथ ही उसके विमान खड़े हो गए और ट्रैवल एजेंसी बंद हो गई। उसके दुनियाभर में फैले 22,000 कर्मचारी नौकरी गंवा बैठे। इनमें से 9,000 कम्रचारी अकेले ब्रिटेन में हैं।