नागौर : 7 साल की मासूम बच्ची को हवस का शिकार बना की हत्या, 30 दिन में कोर्ट ने सुनाई फांसी की सजा

नागौर के पादूकलां थाना क्षेत्र के एक गांव में 20 सितंबर को मुंहबोले मामा ने 7 साल की मासूम बच्ची को हवस का शिकार बना उसकी हत्या कर दी थी। पादूकलां थाना पुलिस ने घटना के तुरंत बाद ही आरोपी दिनेश को गिरफ्तार कर लिया था। पकड़ में आते ही आरोपी दिनेश ने पूछताछ में अपना जुर्म कबूल लिया। पुलिस ने 21 सितंबर को अपहरण, पॉक्सो, मर्डर और रेप की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की थी। इसके बाद प्रकरण से जुड़े सभी गवाहों के बयान और दस्तावेज तैयार किए गए। 27 सितंबर को पुलिस ने सभी आरोपों में जुर्म प्रमाणित मान मेड़ता स्थित पॉक्सो कोर्ट में आरोपी दिनेश के खिलाफ चार्जशीट पेश कर दी थी। इस मामले में 30 दिन में कोर्ट ने फैसला करते हुए फांसी की सजा सुनाई है।

पॉक्सो विशेष कोर्ट की जज रेखा राठौड़ ने दोषी दिनेश जाट (25) को फांसी की सजा सुनाते हुए टिप्पणी की कि यह क्रूूरतापूर्ण अपराध है और राक्षस की प्रवृत्ति को दर्शाता है। बच्चों को बिना भय व असुरक्षा के समाज में प्रसन्नतापूर्वक जीने का अधिकार है। यदि बच्चे घर और घर के बाहर सुरक्षित नहीं हैं तो यह चिंता का विषय है। बच्चों की रक्षा माता-पिता के लिए चुनौतीपूर्ण काम हो चुका है। दोषी समाज के लिए कलंक है। यदि उसे जिंदा रखा गया तो उसके भविष्य में अपराध करने की आशंका रहेगी और अन्य अपराधियों का मनोबल बढ़ेगा।

विशिष्ट लोक अभियोजक एडवोकेट सुमेर सिंह बेड़ा ने कहा कि जघन्य अपराधों में फांसी की सजा का प्रावधान है। न्यायालय ने इस मामले को भी ऐसा ही प्रकरण माना। इससे पहले गुरुवार को नागौर पॉक्सो विशेष कोर्ट ने 7 साल की मासूम बच्ची से रेप के बाद हत्या के मामले में आरोपी मुंहबोले मामा दिनेश को दोषी करार दिया था। विशिष्ट लोक अभियोजक एडवोकेट सुमेर सिंह बेड़ा ने बताया कि 11 दिन तक रोज सुनवाई चली।