राजधानी में जमकर हुई आतिशबाजी से धुएं के गुब्बार और धुंध में एक बार फिर दिल्ली धुधंला गई है। प्रदूषण को लेकर सुप्रीम कोर्ट की सख्त आदेश के बावजूद दिल्ली में कई जगहों पर जमकर आतिशबाजी हुई और राजधानी दिल्ली में दीवाली के मौके पर सुप्रीम कोर्ट के ऑर्डर की धज्जियां उड़ाई गईं।
दिवाली की रात हुए प्रदूषण ने अगली सुबह भी अपना असर दिखाना शुरू कर दिया है। दिवाली पर आतिशबाजी से शहर में 24 गुना तक प्रदूषण बढ़ गया है।
दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण कमिटी यानी डीपीसीसी ने सुबह छह बजे जो आंकड़े जारी किए हैं उससे साफ होता है कि आतिशबाजी से दिल्ली की हवा बुरी तरह प्रदूषित हुई है। सुबह 6 बजे अलग-अलग जगहों पर प्रदूषण का स्तर अपने सामान्य स्तर से कहीं ज्यादा ऊपर है, यहां तक कई जगहों पर यह 24 गुना से भी ज्यादा रिकॉर्ड किया गया है।
डीपीसीसी के आरके पुरम निगरानी केंद्र ने 878 पर पीएम 2.5 और पीएम 10 दर्ज किया और लगभग 11 बजे लगभग 1,179 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज किया।
सुबह 6 बजे के आंकड़ों की बात करें तो पीएम 2.5 का स्तर पीएम 10 से कहीं ज्यादा बढ़ा हुआ है। पीएम 2.5 वह महीन कण हैं जो हमारे फेफड़े के में पहुंच जाते हैं और कैंसर की वजह बन सकते हैं। चिंता की बात यह है कि पीएम 2.5 का स्तर इंडिया गेट जैसे इलाकों में दर्ज किया गया जहां हर रोज सुबह कई लोग आते हैं वहां प्रदूषण 15 गुने से भी ज्यादा ऊपर आया है।
इंडिया गेट पर सुबह 6 बजे पीएम 2.5 की मात्रा 911 माइक्रोन है, जबकि सामान्य तौर पर इसे सिर्फ 60 माइक्रोन होना चाहिए। डीपीसीसी के आंकड़ें बताते हैं कि अशोक विहार में पीएम 2.5 की मात्रा 820 माइक्रोन है जो सामान्य से 14 गुना ज्यादा और आनंद विहार में पीएम 2.5 कणों की मात्रा 617 माइक्रोन है जो सामान्य से 10 गुने से भी ज्यादा है। आरके पुरम के अलावा शाहदरा, वजीरपुर और श्रीनिवासपुरी जैसे इलाकों में भी प्रदूषण का स्तर सामान्य से कई गुना अधिक पहुंच गया है।