दिल्ली सरकार ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को सुझाव दिया है कि वह तंबाकू के पैकेट के लिए हाल में संशोधित चेतावनी ' तंबाकू से दर्दनाक मौत हो सकती है में 'जल्द' शब्द जोड़ें। सरकार का कहना है कि उक्त चेतावनी में यह स्पष्ट नहीं होता है कि तंबाकू खाने वाले लोगों का जीवनकाल घट जाता है। एक सितंबर से तंबाकू उत्पादों के हर एक पैकेट के 85 फीसदी हिस्से पर तस्वीर के साथ संशोधित चेतावनी होगी। इस पर तंबाकू की लत को छोड़ने के इच्छुक लोगों की मदद के लिए राष्ट्रीय टोल फ्री नंबर भी होगा। अब से पैकेटों पर जो चेतावनी होगी वह इस प्रकार है 'तंबाकू से दर्दनाक मौत हो सकती है और तंबाकू से कैंसर होता है।'
दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य विभाग ने संशोधित चेतावनी की तारीफ की और कहा कि वह अधिक प्रभावी साबित होंगी। लेकिन राज्य सरकार ने यह दावा भी किया कि 'तंबाकू से दर्दनाक मौत हो सकती है' की चेतावनी स्पष्ट रूप से यह नहीं बताती कि तंबाकू का सेवन करने वाले लोगों का जीवनकाल घट जाता है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को भेजे पत्र में अतिरिक्त निदेशक (स्वास्थ्य) डॉ. एस.के. अरोड़ा ने कहा कि मौत सामान्य रूप से भी हो सकती है, लेकिन धूम्रपान करने पर समय पूर्व मृत्यु की आशंका रहती है।
अधिकारी ने कहा कि धूम्रपान करने वाले की जीवन प्रत्याशा धूम्रपान नहीं करने वालों की तुलना में कम से कम 10 वर्ष घट जाती है। पत्र में सुझाव दिया गया कि चेतावनी में 'जल्द' शब्द जोड़कर इसे इस तरह किया जाना चाहिए कि 'तंबाकू से जल्द दर्दनाक मौत हो सकती है'। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने तीन अप्रैल को एक अधिसूचना जारी की थी जिसमें नई चेतावनी और टोल फ्री हेल्पलाइन नंबर 1800-11-2356 के बारे में जानकारी दी गई थी।
मुंबई स्थित टाटा मेमोरियल हॉस्पिटल में कैंसर सर्जन डॉ. पंकज चतुर्वेदी का कहना है कि भारत में हर साल तंबाकू की वजह से करीब 12 लाख लोगों की मौत होती है।