राजसमंद। राजस्थान के राजसमंद जिले के छापली गांव में दो दिन पहले कुएं में गिरे 13 वर्षीय किशोर को निकालने के लिए सोमवार को भी बचाव अभियान जारी रहा। शुक्रवार दोपहर कुएं में गिरे किशोर को निकालने के लिए राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) की टीम भी जुट गई है।
राजसमंद की सिविल डिफेंस टीम और राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ) के जवान मौके पर पहुंचे और किशोर को बचाने के लिए अभियान शुरू किया। क्षेत्र के एसएचओ भवानी शंकर ने बताया कि पिछले दो दिनों से बचाव अभियान चल रहा है। दो दिनों से राजसमंद सिविल डिफेंस टीम और एसडीआरएफ काम पर थी, अब आज ही एनडीआरएफ को भी बुलाया गया है।
राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ) की टीम कुएं में बह रहे पानी को बाहर निकालने के लिए अथक प्रयास कर रही है, ताकि पलरा गांव निवासी ललित सिंह को निकालने का काम आसान हो सके। शुक्रवार दोपहर को कनवास छापरी गांव में अपनी बकरियां चराने के लिए निकले ललित कुएं में गिर गया था।
गौरतलब है कि ललित के साथ आए बच्चों ने सबसे पहले घटना की जानकारी उसके नाना गणेश सिंह को दी, जिन्होंने बाद में पुलिस को सूचना दी। देवर एसएचओ भवानी शंकर ने बताया, बच्चा कुएं में गिर गया और दुर्भाग्य से उसकी मौत हो गई। एसडीआरएफ की टीम शव को निकालने के लिए अभियान चला रही है। हमारे सामने सबसे बड़ी चुनौती कुएं में लगातार पानी का बहना है।
उन्होंने बताया कि शुक्रवार दोपहर को शुरू किया गया बचाव अभियान पानी की गहराई के कारण विशेष रूप से चुनौतीपूर्ण रहा। उन्होंने बताया कि प्रयासों में सहायता के लिए पुलिस ने राजसमंद में सिविल डिफेंस से छह सदस्यों की एक टीम को बुलाया।
गौरतलब है कि अप्रैल में इसी तरह की एक घटना में मध्य प्रदेश के रीवा जिले के जनेह थाना क्षेत्र में स्थित मनिका गांव में एक कृषि क्षेत्र में खुले बोरवेल में गिरने से 6 वर्षीय बच्चे की मौत हो गई थी। 45 घंटे तक चले बचाव अभियान के बावजूद बच्चे को बचाया नहीं जा सका।
एडिशनल एसपी विवेक लाल सिंह कहते हैं, एनडीआरएफ, पुलिस, स्थानीय टीम, लोगों और स्थानीय प्रशासन ने करीब 45 घंटे तक कड़ी मेहनत की। टीम ने सभी सावधानियों और सुरक्षा उपायों के साथ लगातार 45 घंटे तक काम किया, लेकिन हम उसकी जान नहीं बचा सके।