बारिश का कहर, बड़ा सवाल : हर साल मुंबई की यह दुर्गति क्यों?

मुंबई में बारिश से भारी तबाही की खबर आ रही है। रिपोर्ट के मुताबिक महाराष्ट्र में सिर्फ मंगलवार रात में तीन जगह दीवारें गिरी हैं। इन तीनों घटनाओं में 22 लोगों की मौत हुई है। बीएमसी के मुताबिक शहर के अलग-अलग हिस्सों में शॉर्ट सर्किट के 39 मामले सामने आए हैं, जबकि पेड़ उखड़ने या गिरने की 104 घटनाएं हुई हैं। BMC कमिश्नर के मुताबिक बीते दो दिनों में ही 540 मिलीमीटर बारिश हुई है जो पिछले 10 सालों में सबसे ज़्यादा है। बारिश का पानी सड़कों पर भर गया है, जिससे मुंबई की रफ़्तार थम सी गई है। कई जगह रेलवे ट्रैक पर पानी भर गया है, जिससे ट्रेनें धीरे चल रही हैं और कई रद्द कर दी गईं हैं। मुंबई के सेंट्रल रेलवे के जमब्रूंग और ठाकुरवाड़ी डाउन लाइन के बीच एक मालगाड़ी पटरी से उतर गई। जिसके चलते मुंबई से पुणे के लिए रवाना होने वाली इंटरसिटी ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है। कुल 10 ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है, जबकि 4 ट्रेनों को बीच में टर्मिनेट कर दिया गया।

भारी बारिश का असर उड़ानों पर भी पड़ा है। बारिश की मार झेल रहे मुंबई में आधी रात को एक बड़ा हादसा होते-होते टला। स्पाइस जेट की फ्लाइट 6237 जयपुर मुंबई एयरपोर्ट के मुख्य रनवे पर फिसल गई। ये फ्लाइट जयपुर से मुंबई आ रही थी। हादसे के बाद एयरपोर्ट के मुख्य रनवे को बंद कर दिया गया है, और दूसरे रनवे से काम चलाया जा रहा है। स्पाइस जेट ने एक बयान जारी कर कहा, 'स्पाइस जेट की फ्लाइट 6237 जयपुर मुंबई रनवे पर फिसल गई, तब ये फ्लाइट मुंबई एयरपोर्ट पर लैंड कर रही थी, सभी यात्री सुरक्षित हैं।' मौसम विभाग ने अभी 5 जुलाई तक ऐसे ही बारिश होने की संभावना जताई है। बारिश से बिगड़ते हालातों को देखते हुए महाराष्ट्र सरकार ने 2 जुलाई मंगलवार को सार्वजनिक छुट्टी का ऐलान किया है।

एक दिन में इतनी बारिश टूटा 10 साल का रिकॉर्ड

मुंबई के घाटकोपर इलाके में पिछले 24 घंटों में 300 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई है। शनिवार यानी 29 जून को सुबह साढ़े 8 बजे तक 234.8 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई। ये 2015 के बाद से एक दिन में होने वाली सबसे अधिक बारिश है। इससे पहले 2015 में 19 जून को मुंबई में 283.4 मिलीमीटर बारिश हुई थी। ये 10 साल में एक दिन में होने वाली सबसे ज्यादा बारिश है।

हर साल का वही हाल

मुंबई हर साल बारिश के कहर को सहती है। लेकिन अब यह सवाल उठता है कि शहर के ड्रेनेज सिस्टम को संभालने वाली BMC के पास 30 हजार करोड़ से ज्यादा का भारी भरकम बजट है उसके बावजूद हर साल मुंबई की यह दुर्गति क्यों हो जाती है। विपक्षी पार्टियां पानी-पानी होती मुंबई के पीछे भ्रष्टाचार को जिम्मेदार ठहरा रही हैं तो नासिक में केके वॉग पॉलिटेक्निक के डिपार्टमेंट ऑफ सिविल इंजीनियरिंग के विशेषज्ञों ने एक रिसर्च की है। जिसमें ऐसी बात सामने आई है जिसनें सबकों चौका दिया है।

- मुंबई में जल निकासी का सिस्टम सन 1860 में अंग्रेजों के जमाने में बनाया गया था। तब आज के मुकाबले मुंबई की आबादी सिर्फ 10 फीसदी थी। मुंबई की आबादी तेजी से बढ़ी, मगर जल निकासी की क्षमता नहीं बढ़ी।

- मुंबई में लगे ड्रेनेज पाइप 50 से 60 साल पुराने है और चौकाने वाली बात यह है कि इनमें सिर्फ 30 फीसदी पाइप बदले गए हैं। मुंबई में करीब 400 किलोमीटर लंबा अंडरग्राउंड ड्रेनेज सिस्टम है। जो केवल सामान्य स्तर की बारिश ही झेल सकता है। विशेषज्ञों का कहना है कि अगर बारिश 25 मिलिमीटर से ज्यादा हो जाए तो मुंबई के ड्रेनेज सिस्टम की हालत खराब होने लगती है।

BMC का दावा

- बीएमसी ने पूरे शहर भर में 180 ऐसी जगहों की पहचान की, जहां पानी भरता है। इन जगहों पर पानी निकालने के लिए 235 पंप लगाने का दावा बीएमसी कर रही है।

- बीएमसी के ऑडिट में ये भी सामने आया है कि मुंबई में 29 पुल बेहद खतरनाक हैं।

- बीएमसी का दावा है कि 65 फीसदी नालों की सफाई की जा चुकी है।

- बीएमसी ने 499 बिल्डिंगों को खतरनाक बताया है।

- 10 हजार पेड़ों पर पोस्टर लगाएं है जिनमें लिखा है कि पेड़ों के नीचे वाहन ना खड़े करें। बीएमसी का दावा है कि 153 करोड़ से नालों की सफाई पर खर्च किये गए हैं।

- 50 करोड़ रुपए पेड़ों की कटाई और छटाई पर खर्च किए हैं। 15.86 करोड़ रुपए सड़कों के गड्ढे भरने पर। बीएमसी का दावा का 90 प्रतिशत ड्रेनेज सिस्टम साफ हो चुका है।

पर आज यह सारे दावे खोखले लग रहे है। भारी बारिश से मुंबई के कई इलाकों में पानी भर गया है। बारिश का पानी सड़कों पर भर गया है, जिससे मुंबई की रफ़्तार थम सी गई है। मुंबई में रविवार से ही भारी बारिश हो रही है और दो दिन में यहां 540 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई है। यह पिछले एक दशक में दो दिन की अवधि में हुई सर्वाधिक बारिश है। बता दे, मंगलवार रात भारी बारिश के चलते महाराष्ट्र में तीन जगह दीवारें गिरी हैं। इन तीनों घटनाओं में 22 लोगों की मौत हुई है। दीवार गिरने की घटना मलाड ईस्ट, कल्याण और पुणे में हुई है। मलाड ईस्ट में 14 लोगों की मौत की खबर है, जबकि कल्याण में एक स्कूल की दीवार 2 घरों पर गिरी जिसमें 3 लोगों की मौत हो गई है, पुणे में सिंहगढ़ कॉलेज की दीवार गिरने से 6 लोगों की मौत हुई है। जबकि 4 लोग घायल बताए जा रहे हैं। ये घटनाएं आधी रात के आस-पास की हैं। पुणे में हादसा रात को करीब 1 बजकर 15 मिनट पर हुआ। फिलहाल तीनों जगह राहत और बचाव कार्य के लिए एनडीआरएफ की टीम लगी हुई है। इन हादसों में मरने वाले लोगों के परिजनों के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने 5-5 लाख के मुआवजे का ऐलान किया है।