पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत का एक और एक्शन, पाकिस्तान से डाक और पार्सल सेवा को किया बंद

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ एक और बड़ा कदम उठाते हुए डाक और पार्सल सेवाओं को पूरी तरह से निलंबित कर दिया है। यह फैसला तुरंत प्रभाव से लागू हो गया है और भारत-पाकिस्तान के बीच हवाई और जमीनी दोनों मार्गों से होने वाले मेल और पार्सल के आदान-प्रदान पर प्रतिबंध लगाता है। डाक विभाग ने इस निर्णय की पुष्टि करते हुए एक सार्वजनिक नोटिस भी जारी किया है।

गौर करने वाली बात यह है कि भारत और पाकिस्तान के बीच डाक सेवाएं पहले ही सीमित स्तर पर चल रही थीं। अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद पाकिस्तान ने अस्थायी रूप से डाक सेवाएं बंद की थीं, जिन्हें बाद में बहाल किया गया था। अब एक बार फिर, बढ़ते तनाव और हालिया आतंकी हमले को देखते हुए भारत ने इन सेवाओं को पूरी तरह रोकने का फैसला लिया है।

इस फैसले से दोनों देशों के बीच पत्राचार, व्यापारिक डाक और व्यक्तिगत पार्सलों का पूरा लेन-देन रुक जाएगा। विशेषज्ञों का मानना है कि इसका सबसे बड़ा असर उन परिवारों और व्यापारिक समूहों पर पड़ेगा जो इन सेवाओं पर निर्भर थे। यह कार्रवाई ऐसे समय में हुई है जब भारत ने पाकिस्तान से होने वाले सभी प्रकार के आयात और पारगमन पर पहले ही रोक लगा दी है।

गौरतलब है कि पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में 26 निर्दोष पर्यटकों की जान गई थी, जिसके बाद भारत ने यह स्पष्ट संदेश दिया है कि आतंक के खिलाफ कोई नरमी नहीं बरती जाएगी। डाक सेवाओं का निलंबन भारत के कड़े रुख का हिस्सा है, जिससे दोनों देशों के बीच राजनयिक और व्यापारिक संबंधों में और तनाव आ गया है।

व्यापार स्तर पर भी भारत ने पाकिस्तान पर शिकंजा कस दिया है। ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (GTRI) के सह-संस्थापक अजय श्रीवास्तव के अनुसार, पाकिस्तान से भारत का सालाना आयात पहले से ही नगण्य था—लगभग 0.5 मिलियन डॉलर। अब यह पूरी तरह शून्य हो जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि भारत में केवल सेंधा नमक जैसी कुछ वस्तुएं ही पाकिस्तान से आती थीं, जिसकी कमी भी जल्द पूरी हो जाएगी।

श्रीवास्तव ने यह भी बताया कि भारत ने 2019 के पुलवामा हमले के बाद पाकिस्तान से आयात पर 200% शुल्क लगा दिया था, जिससे दोनों देशों के बीच व्यापार लगभग बंद हो गया था।

भारत द्वारा उठाए गए ये कड़े कदम साफ तौर पर यह संकेत देते हैं कि अब आतंकवाद के खिलाफ नीतिगत और निर्णायक कार्यवाही की जाएगी। पाकिस्तान के साथ संचार, व्यापार और कूटनीतिक संबंधों में आई दरार दिनों-दिन गहराती जा रही है।