चारा घोटाला मामले में सजायाफ्ता राष्ट्रीय जनता दल (राजद) सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव का दिल्ली के ऑल इंडिया मेडिकल इंस्टीट्यूट में किडनी और दिल से जुड़ी कई बीमारियों का इलाज चल रहा है। सोमवार को लालू यादव को अचानक एम्स से छुट्टी दे दी गई। उन्हें आज रांची की अस्पताल में वापस भेजा जा सकता है। चानक लालू के डिस्चार्ज किए जाने की खबर के बीच लालू व्हील चेयर से अस्पताल से बाहर निकलते नजर आए। एम्स के बाहर उनके समर्थकों की भीड़ लगी थी। लालू चारा घोटाला में दोषी करार दिए जाने के बाद से ही रांची की जेल में बीमार चल रहे थे इसलिए उन्हें मेडिकल ग्राउंड पर रांची के अस्पताल से दिल्ली के AIIMS रेफर किया गया था। जहां उनका इलाज चल रहा था।
वही लालू यादव ने एम्स से उनकी छुट्टी किए जाने को एक सोची-समझी राजनीतिक साजिश के तहत उठाया गया कदम बताया है। रांची वापस भेजे जाने के एम्स के फैसले पर उनके बेटे और बिहार के पूर्व उपमुख्यंत्री तेजस्वी यादव ने हैरानी जताई है। तेजस्वी यादव ने कहा कि एम्स का ये फैसला जल्दबाजी में लिया गया फैसला है। एम्स में उनका इलाज बेहतर तरीके से चल रहा है। मैं हैरान हूं कि आखिर एम्स की ओर से ये फैसला क्यों लिया गया।
तेजस्वी यादव ने कहा कि ये सिर्फ एम्स प्रशासन ही बता सकता है कि आखिर उन्हें वापस रांची भेजे जाने के पीछे क्या वजह है। एम्स से डिस्चार्ज किए जाने की जानकारी मिलते ही राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने सोमवार को एम्स प्रशासन को पत्र लिखकर उन्हें यहीं रखने की गुहार लगाई है। एम्स प्रशासन को लिखे गए पत्र में लालू ने कहा है, 'मैं वापस रांची अस्पताल में स्थानांतरित नहीं होना चाहता, क्योंकि उस अस्पताल मेरी बीमारियों के इलाज के लिए पर्याप्त इंतजाम नहीं हैं। रांची मेडिकल कॉलेज में वह सुविधा नहीं मिलेगी जैसी एम्स में मिल रही है। उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि उन्हें वापस रांची न भेजा जाए।'
एम्स प्रशासन को लिखा गया लालू का पत्रएम्स निदेशक संबोधित इस पत्र में लालू ने लिखा, मुझे बताया गया है कि मुझे अस्पताल से छुट्टी करने की कार्रवाई हो रही है। मुझे रांची मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल से अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) दिल्ली में अच्छे इलाज के लिए भेजा गया था। अभी मेरी तबियत ठीक नहीं हुई है। मैं आपको अवगत कराना चाहता हूं कि मैं हृदयरोग, किडनी इंफेक्शन, शुगर एवं कई अन्य प्रकार की बीमारियों से ग्रसित हूं। कमर में दर्द है और बार-बार चक्कर आ रहा है। मैं कई बार बाथरूम में गिर भी गया हूं। मेरा रक्तचाप और शुगर बीच-बीच में बढ़ भी जाता है। इन सब बीमारियों का इलाज यहां चल रहा है।
मैं आपको सूचित करना चाहता हूं कि बिरसा मुंडा कारागार और रांची मेडिकल कॉलेज में किडनी की बीमारी का कोई समुचित इलाज व देखभाल की व्यवस्था नहीं है। प्रत्येक नागरिक का यह मूलभूत संवैधानिक अधिकार है कि उसका इलाज उसकी संतुष्टि के अनुसार हो। न जाने किस एजेंसी या राजनीतिक दबाव में मुझे एकाएक यहां से हटाने का निर्णय लिया जा रहा है। आपको यह मालूम हो कि मैं कस्टडी में बंदी हूं। दिल्ली से रांची जाने में ट्रेन से 16 घंटे लगते हैं।
डॉक्टर भगवान के दूसरे रूप होतें हैं। उन्हें किसी व्यक्ति या राजनीतिक दल के दबाव में आकर कोई निर्णय नहीं लेना चाहिए। उनका प्रथम कर्तव्य होता है मरीज के स्वास्थ्य में पूर्ण सुधार। इसलिए मैं जबतक पूर्ण रूप से स्वस्थ नहीं होता हूं तब तक मुझे यहीं रखकर मेरा इलाज किया जाए। अगर मुझे इस आयुर्विज्ञान संस्थान से रांची मेडिकल कॉलेज भेजा जाता है और इससे मेरे जीवन पर किसी प्रकार का खतरा उत्पन्न होता है तो इसकी पूरी जिम्मेदारी आप सब पर होगी, यह मैं आपको सूचित कर रहा हूं।
जानकारी के अनुसार चारा घोटाला में दोषी बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव फिलहाल स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के चलते दिल्ली एम्स में अपना इलाज करा रहे हैं। बताया जा रहा है कि लालू एम्स में हो रहे उनके इलाज से पूरी तरह संतुष्ट हैं और उन्हें इससे लाभ भी मिल रहा है। ज्ञात हो कि बीते काफी दिनों से लालू का इलाज दिल्ली एम्स अस्पताल में चल रहा है।