लू और गर्मी से हालात बिगड़े, दिल्ली में दो दिन में 7 और नोएडा में 9 मरे

नई दिल्ली। दिल्ली-एनसीआर में लू और गर्मी से हालात बिगड़ते नजर आ रहे हैं। बीते दो दिनों के दौरान राम मनोहर लोहिया अस्पताल में लू लगने से 22 मरीज भर्ती हुए हैं। इस दौरान पांच मरीजों की मौत हो गई है। बताया जाता है कि 10 मरीज वेंटिलेटर पर हैं जिनकी हालत नाजुक है। वहीं सफदरजंग अस्पताल में हीट स्ट्रोक से एक दिन पहले मंगलवार को दो मरीजों की मौत हो गई। वहीं नोएडा में मंगलवार को 24 घंटे के दौरान विभिन्न जगहों पर नौ लोग मृत पाए गए।

नोएडा में मंगलवार को 24 घंटे के दौरान नौ लोगों की मौत दर्ज की गई। स्थानीय लोगों ने लू लगने की आशंका जाहिर की है। हालांकि प्रशासन की ओर से लू से मौतों के बारे में पुष्टि नहीं की गई है। मृतकों की डेडबॉडी पोस्टमार्टम के लिए भेजी गई हैं। जिला अस्पताल के आईसीयू इंचार्ज ने कहा कि बीते 24 घंटे के दौरान नौ डेड बॉडी अस्पताल पहुंची। जिला अस्पताल के चिकित्सकों ने बताया कि आईसीयू में 20 बेड हैं, जिनमें 17 भरे हुए हैं। इनमें चार डिहाईड्रेशन से पीड़ित हैं। कोई भी हीट स्ट्रोक से पीड़ित नहीं है।

आरएमएल अस्पताल के डॉक्टरों ने बताया कि बीते दो दिनों के दौरान 5 मरीजों की संदिग्ध हीटस्ट्रोक के कारण मौत हो गई है। 12 मरीज वेंटिलेटर पर हैं और उनकी हालत गंभीर है। अधिकांश मरीज मजदूर हैं। ये लोग विषम परिस्थितियों में काम करते हैं। मरीजों की मौत का मुख्य कारण अस्पताल पहुंचने में देरी है। अब तक आरएमएल अस्पताल में कुल 45 से 50 मरीज आए हैं। हीटवेव की स्थिति शुरू होने से अब तक करीब 7 लोगों की मौत हो चुकी है।

गौरतलब है कि हीट स्ट्रोक के मरीजों की मृत्यु दर सबसे अधिक होती है। हीट स्ट्रोक की स्थिति में करीब 60 से 70 फीसदी की मृत्युदर होती है। ऐसे में यदि मरीजों को अस्पताल ले जाने में देर हो जाए तो मृत्यु का जोखिम बढ़ जाता है।