IPL इतिहास के सबसे महंगे खिलाड़ी ने दिखाया मैच में अपना कमाल, हार की चौखट से राजस्थान को दिलाई जीत

बीते दिन राजस्थान रॉयल्स (RR) और दिल्ली कैपिटल्स (DC) के बीच खेले गए मैच में राजस्थान को रोमांचक जीत मिली। इस जीत के दारोमदार रहे क्रिस मॉरिस और मिलर जिनकी ताबड़तोड़ बल्लेबाजी ने राजस्थान को हार की चौखट से जीत दिलाई हैं। दिल्ली ने दिल्ली कैपिटल्स ने 8 विकेट गंवाकर 147 रन बनाए। जवाब में राजस्थान की टीम ने 7 विकेट गंवाकर 150 रन बनाते हुए मैच अपने नाम कर लिया। मिलर के अर्धशतक (43 गेंद में 62 रन) से रॉयल्स ने वापसी की और उसे अंतिम पांच ओवर मे जीत के लिए 58 रन की दरकार थी। मिलर ने आवेश की गेंद पर एक रन के साथ 40 गेंद में अर्धशतक पूरा किया। उन्होंने इसी ओवर में लगातार दो छक्कों के साथ टीम के रन का शतक पूरा किया, लेकिन अगली गेंद पर लॉन्ग ऑन पर यादव को कैच दे बैठे।

क्रिस मॉरिस अब भी दूसरी छोर पर खड़े थे। नए बल्लेबाज उनादकट ने वोक्स पर छक्के से खाता खोला, लेकिन करन के अगले ओवर में कोई बाउंड्री नहीं लगी। रॉयल्स को अंतिम दो ओवर में जीत के लिए 27 रन की जरूरत थी। मॉरिस ने रबाडा के 19वें ओवर में दो छक्के जड़े जिससे अंतिम ओवर में टीम को जीत के लिए 12 रन की जरूरत थी। मॉरिस ने करन पर दो छक्के जड़कर रॉयल्स को जीत दिला दी। कुछ दिन पहले कप्तान संजू सैमसन ने क्रिस मॉरिस को आखिरी गेंद में स्ट्राइक देने से साफ इनकार कर दिया था। शायद उनका सोचना था कि मॉरिस एक गेंद में जरूरी पांच रन नहीं बना पाएंगे क्योंकि लास्ट बॉल पर जीत के लिए हर हाल में छक्के की दरकार थी। अब अगले ही मैच में मॉरिस ने बता दिया कि क्यों नीलामी में 16।25 करोड़ लेकर वह आईपीएल इतिहास के सबसे महंगे खिलाड़ी बने थे।

चार छक्के की बदौलत 18 गेंद में 36 रन बनाने वाले मॉरिस ने जीत के बाद कहा कि पिछले मैच की आखिरी बॉल पर स्ट्राइक न मिलने का उन्हें कोई मलाल नहीं। 16 करोड़ 25 लाख में बिकने वाले मॉरिस ने कहा, 'संजू गेंद को बेहद प्यार से बाउंड्री पार भेज रहे थे। हमारा अंतिम मकसद सिर्फ जीत थी। मुझे इतनी भारी भरकम राशि इसी वजह से दी गई क्योंकि मैं एक स्लॉगर हूं। मेरा काम ही हर गेंद को सीमा रेखा के पार भेजना है।'