'बिहार में काम करना हमारे लिए चैलेंजिंग' मंत्री सम्राट चौधरी के इस बयान पर बोली RJD - BJP के अंदर है नीतीश कुमार को 'कुर्सी' दे देने का दर्द

बीजेपी कोटा से बिहार सरकार में मंत्री बने सम्राट चौधरी द्वारा रविवार को दिए एक बयान ने नया विवाद खड़ा कर दिया है। औरंगाबाद में तीन दिवसीय भाजयुमो की प्रदेश कार्यसमिति की बैठक में शिरकत करने पहुंचे मंत्री सम्राट चौधरी ने कहा- 'बिहार में हम कार्यकर्ताओं को भी नहीं बचा पाते, क्योंकि यहां विचार टकराते हैं। यहां काम करना मुश्किल है, चैलेजिंग है। नेतृत्व ने 2015 अवसर दिया था, लेकिन हम जीत नहीं पाए। अवसर गवा दिए। फिर 2017 गठबंधन किए। 74 सीट जीते, पर सीएम नीतीश को बनाए।' उन्होंने कहा गठबंधन की सरकार में फैसला लेना मुश्किल हो रहा है। सम्राट चौधरी के इस बयान के बाद आरजेडी ने बिहार सरकार को घेरा है। वहीं, ये दावा किया है कि ये सरकार अंतर्कलह की वजह से बहुत जल्द गिर जाएगी।

सत्ता की मलाई के लिए ये लोग एक हो गए

आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, 'नीतीश सरकार के मंत्री सम्राट चौधरी जो बीजेपी कोटा से हैं, वो कह रहे हैं कि बिहार में सरकार चलाने में दिक्कत हो रही है। ये बात तो दिख भी रही है। सत्ता की मलाई के लिए ये लोग एक हो गए हैं। जनादेश का अपहरण कर सत्ता में आ गए, लेकिन चारों दल जो एनडीए में शामिल हैं, सभी की नीति अलग-अलग है। ऐसे में जब नीति ही अलग है, तो वो जनता की भलाई कैसे करेंगे।'

बिहार में सरकार वेंटिलेटर पर

आरजेडी प्रवक्ता ने आगे कहा, 'बिहार में सरकार वेंटिलेटर पर है। हम लोग लगातार दावा कर रहे हैं कि ये सरकार किसी भी समय गिर जाएगी और ये सरकार अपने अंदरूनी कलह की वजह से ही गिरेगी।'

उन्होंने कहा कि बीजेपी लगातार ये बात बोल रही है कि अधिक सीट होने के बाद भी मुख्यमंत्री की कुर्सी नीतीश कुमार को दे दी। इस बात की बीजेपी के अंदर पीड़ा है।

सत्ता में रहने का कोई अधिकार नहीं

मृत्युंज तिवारी ने आरोप लगाया कि एनडीए घटक दल वीआईपी और हम पार्टी, जिनके दम पर बिहार में सरकार है, उनकी कोई सुन नहीं रहा है। ऐसे में आखिर में ये सरकार चल कैसे रही है? ये सरकार पूरी तरह से जनविरोधी सरकार है। इसे एक मिनट भी सत्ता में रहने का कोई अधिकार नहीं है।

बिहार की सरकार में चार पार्टियां शामिल हैं

सम्राट चौधरी ने कहा कि देश के कई राज्यों में बीजेपी की अकेले की सरकार है। उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश या फिर कुछ दिनों पहले तक झारखंड में बीजेपी की अकेले की सरकार थी। तब बीजेपी के लिए फैसला लेना आसान था। लेकिन गठबंधन की सरकार में फैसला लेना मुश्किल है।

सम्राट चौधरी ने कहा कि बिहार की सरकार में चार पार्टियां शामिल हैं। चारों पार्टियों की विचारधारा अलग-अलग है। सबकी मांग भी अलग है। ऐसे में सरकार चलाना और सबकी मांगों को पूरा करना बेहद मुश्किल है। पार्टी के कार्यकर्ताओं को इस बात को समझना चाहिये।

सम्राट चौधरी ने एक बार फिर कहा कि बीजेपी ने 74 सीटें जीत कर भी नीतीश कुमार को मुख्यमंत्री बनाया जबकि, जेडीयू के पास सिर्फ 43 सीटें थीं। गठबंधन के कारण ही ऐसा करना पड़ा। सम्राट ने कहा कि ऐसा पहली बार नहीं हुआ है। इससे पहले भी 2000 के विधानसभा चुनाव में जब नीतीश कुमार की पार्टी को सिर्फ 37 सीटें मिली थीं और बीजेपी को तब भी 69 सीट थी तो नीतीश को मुख्यमंत्री बनाने का फैसला लिया गया।