गलत खान-पान या किसी बीमारी के चलते कई लोगों को पेट में अल्सर या पेट के छाले का सामना करना पड़ता हैं। अतिरिक्त एसिड पेट में गैस्ट्रिक अल्सर का मुख्य कारण बन सकता है। पेट में अल्सर की समस्या होने पर पेट में दर्द, जलन, मल का रंग काला होना, जी मिचलाना जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं। इन लक्षणों को समझ उचित समय पर इलाज लेने की जरूरत हैं अन्यथा यह आंतों के कैंसर का कारण भी बन सकता है। ऐसे में आज हम आपको कुछ ऐसे घरेलू नुस्खों की जानकारी देने जा रहे हैं जो पेट में अल्सर की समस्या से राहत दिलाने का काम करेंगे। आइये जानते हैं इन उपायों के बारे में...
नारियल नारियल पेट के अल्सर के लिए बेहद फायदेमंद होता है क्यंकि इसमें एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं। ये अल्सर के कारण होने वाले बैक्टीरिया को मारता है। इसके अलावा नारियल दूध और नारियल पानी में एंटी अल्सर गुण होते हैं। सबसे पहले नारियल के दूध या कोमल नारियल के पानी के रोज़ाना कुछ कप ज़रूर पियें। इसके साथ ही कोमल नारियल के डंठल को भी खाने की कोशिश करें। इस इलाज को एक हफ्ते तक ज़रूर आजमाएं जिससे आपको एक अच्छा परिणाम मिल सके।
नींबू आयुर्वेद एक्सपर्ट का कहना है कि नींबू के इस्तेमाल से पेट के अल्सर की परेशानी को कम किया जा सकता है। इसका सेवन करने के लिए आधा कप दूध लें। इसमें आधा नींबू निचोड़कर पिएं। नियमित रूप से कुछ दिनों तक इस तरह दूध और नींबू का सेवन करने से अल्सर के दौरान होने वाले दर्द और ऐंठन को कम किया जा सकता है।
सौंफसौंफ कई आयुर्वेदिक गुणों से भरपूर माना जाता है। इसका सेवन करने के लिए 20 ग्राम करीब सौंफ का चूर्ण लें। इसके बाद इस चूर्ण को करीब 2 लीटर पानी में डालकर घोल तैयार करें। अब इस पानी को सुबह से शाम तक पिएं। इससे आपको पेट से जुड़ी परेशानियों से आराम मिलेगा। साथ ही पेट का अल्सर के लक्षणों को भी कम किया जा सकता है।
केलापेट के छाले के लिए केला बहुत प्रभावी होता है। केले में एंटी बैक्टीरियल गुण होते है, जो इसे बढ़ाने वाले H.pylori कंपाउंड को बढ़ने से रोकता है। केला पेट में होने वाली एसिडिटी और गैस से भी बचाता है। अल्सर के उपचार के लिए रोज 2-3 केला का सेवन करें। अगर आपको केला पसंद नहीं तो आप इसका मिल्कशेक बनाकर भी पी सकते है।
शहद शहद में इलाज करने के गुण शामिल होते हैं जो पेट के अल्सर का इलाज करने में मदद करते हैं। शहद में मौजूद ग्लूकोस ऑक्सिडेस एन्ज़ाइम हाइड्रोजेन पेरोक्साइड का उत्पादन करता है। जिससे हानिकारक बैक्टीरिया मरने लगते हैं जिनके कारण अल्सर होता है। इसके साथ ही ये पेट की लाइनिंग की सूजन और दर्द को दूर करता हैं। दो चम्मच शहद को रोज़ाना सुबह खाली पेट ज़रूर लें। इससे पेट की गैस दूर करने में मदद मिलेगी, पेट की लाइनिंग मजबूत होंगी और ऐसे पेट के अल्सर का इलाज होगा।
पत्तागोभी और गाजर का जूसपत्तागोभी और गाजर का जूस पेट के अल्सर के लक्षणों को कम करने में प्रभावी हो सकती है। इसके लिए पत्तागोभी और गाजर को बराबर मात्रा में लेकर इसका जूस तैयार करें। इस जूस का सेवन आप शाम के समय करें। नियमित रूप से इस जूस का सेवन करने से पेट के अल्सर की परेशानियों को कम कर सकते हैं।
चांगेरीयह वही घास है जिसके छोटे-छोटे हरे पत्तों को बच्चे शौक से खाते हैं और इसका स्वाद थोड़ा खट्टा होता है। चांगेरी के छोटे-छोटे पौधे आपको कहीं भी मिल जाएंगे। चांगेरी घास के पत्तों में कैरोटीन, ऑक्सालेट और कैल्शियम भरपूर मात्रा में पाया जाता है। अगर आप पेट के छाले की समस्या से पीड़ित हैं, तो आपको चांगेरी का घरेलू नुस्खा आजमाना चाहिए। यह छोटे-छोटे पत्ते पेचिश से भी राहत दिलाने में बहुत लाभकारी है। 2-5 मिली चांगेरी रस को दिन में दो बार पीने से लाभ होगा। पेट दर्द और आंतरिक जलन में 40 से 60 ग्राम चांगेरी के पत्तों के काढ़े में भुनी हुई हींग और मुरब्बा मिलाकर सुबह-शाम रोगी को पिलाने से पेट दर्द ठीक हो जाता है।
लहसुन लहसुन पेट के अल्सर का इलाज करने में मदद करता है। एक रिसर्च के अनुसार इसमें एंटीबैक्टीरियल और एंटीमाइक्रोबियल गुण भी होते हैं जो हेलिकोबैक्टर पाइलोरी बैक्टीरियम के स्तर को सही रखते हैं। दो ये तीन लहसुन की फांकों को क्रश कर लें और अब इसे एक ग्लास पानी में डालकर दिन में पी लें। इस प्रक्रिया को रोज़ाना करें जिससे पेट की सूजन कम हो और पेट के अल्सर से राहत मिले।
मुलेठीपेट के अल्सर का इलाज करने के लिए मुलेठी काफी फायदेमंद हो सकती है। पेट के घाव होने पर मुलेठी की जड़ का चूर्ण इस्तेमाल करना चाहिए। मुलेठी पेट के अल्सर के लिए फायदेमंद है। यह न केवल गैस्ट्रिक अल्सर बल्कि ड्यूओडनल अल्सर में भी पूरी तरह से फायदा करती है। इसका सेवन करने के लिए 1 गिलास गर्म पानी लें। इसमें 1 टीस्पून मुलेठी पाउडर डालें। अब इस करीब 15 मिनट के लिए छोड़ दें। इसके बाद इसका सेवन करें। इससे पेट के अल्सर की समस्याओं को कम कर सकते हैँ।
घी और हींगपेट के अल्सर की समस्याओं को कम करने के लिए घी और हींग प्रभावी हो सकता है। इसका सेवन करने के लिए हींग को घी में डालकर इसे हल्का सा गर्म करें। अब इसमें 1 चम्मच जीरा पाउडर और सेंधा नमक मिक्स कर लें। तैयार मिश्रण का दिन में दो बार सेवन करें। यह आपके लिए काफी फायदेमंद हो सकता है।