बवासीर का मुख्य कारण है कब्ज, पेट साफ रखने के लिए करें इन चीजों का सेवन

खराब लाइफस्टाइल और खान-पान के चलते कई तरह की स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याएं शरीर में प्रवेश कर जाती है। उनमें से एक आम समस्या है कब्ज की। कब्ज की समस्या मतलब मल त्याग करने में कठिनाई होना। शुरू में यह समस्या आम लगती है लेकिन अगर समय रहते इसका इलाज नहीं किया जाएं तो यह पुरानी समस्या बन जाती है। कब्ज में मल सूखा और कठोर हो जाता है, जिसके कारण व्यक्ति को मल त्यागने में दिक्कत होती है। काफी देर तक उकड़ू बैठे रहने के कारण वहां की रक्तवाहिनियों पर जोर पड़ता है। जिसके कारण वह फूलकर लटक जाती हैं और उन्हें ही बवासीर का मस्सा कहा जाता है। बवासीर की समस्या ज्यादा होने पर व्यक्ति को बैठने में भी समस्या होने लगती है। बवासीर यानी पाइल्स के दो प्रकार होते हैं। पहली एक्सटर्नल पाइल्स जो गुदा मार्ग यानी मल मार्ग के आसपास की त्वचा के नीचे होती है और दूसरी इंटरनल पाइल्स जो व्यक्ति के मलाशय यानी रेक्टम में मौजूद होता है। इन्हें देखा या महसूस नहीं किया जा सकता, लेकिन मल त्याग के दौरान दर्द रहित ब्लीडिंग हो सकती है।

ऐसे में नौबत बवासीर तक नहीं पहुंचे इसके लिए जरुरी है कि समय रहते कब्ज की समस्या से निजात पा लिया जाए। इसके लिए सबसे जरुरी है कब्ज बनाने वाले खाद्य पदार्थ जैसे मांस, चिप्स, मसालेदार और सख्त चीजों का सेवन तुरंत बंद कर देना। दूसरा तरीका यह है कि आपको फाइबर से भरपूर चीजों का सेवन बढ़ा देना चाहिए। कब्ज से राहत के पाने के लिए खाने में अधिक फल, सब्जियां और नट्स शामिल कर सकते हैं। इसके अलावा नियमित व्यायाम और तनाव कम करने के साथ सक्रिय जीवन शैली भी कब्ज में मदद कर सकती है। तो चलिए आज हम आपको कुछ ऐसी चीजों के बारे में बताने जा रहे है जिनके नियमित सेवन से कब्ज की समस्या का छुटकारा पाया जा सकता है...

तुलसी के बीज और भीगे बादाम

तुलसी के बीजों के साथ दिन की शुरुआत आपको कब्ज की समस्या से छुटकारा दिला सकती है। इसके लिए आप एक चम्मच तुलसी के बीजों को रात में पानी में भिगो दे और सुबह इसका सेवन करें साथ ही 5 बादाम, 1 अखरोट और 3 काली किशमिश लें, जिन्हें भी रात भर भिगोया जाता है।

सूखी अंजीर

नाश्ते में आप अंजीर और खजूर की स्मूदी ले सकते हैं। इस स्मूदी के लिए आपको 2 अंजीर, 2 खजूर, 1/4 कप ओट्स, 3/4 कप दूध, एक चुटकी दालचीनी, एक चुटकी जायफल और 1 टीस्पून चिया सीड्स को एक साथ मिलाना है।

ओटमील

आप नाश्ते में ओटमील का सेवन कर सकते हैं। ओटमील में घुलनशील और अघुलनशील फाइबर से भरपूर है। पहले तो यह पानी में आसानी से घुलकर जेल जैसा रूप ले लेता है जबकि अघुलनशील फाइबर मल में भारी मात्रा में जुड़कर खाद्य पदार्थ को नरम बनाता है और इसे पेट व आंत से गुजरने में आसानी होती है। इस तरह मल त्याग करने के लिए जोर लगाने की जरूरत नहीं पड़ती और कब्ज से छुटकारा मिल जाता है।

पपीता

दोपहर को भोजन से पहले लगभग 11 बजे एक कटोरी पपीते का सेवन करें। लंच से 30 मिनट पहले एक गिलास छाछ और 1/2 टीस्पून पिसे हुए अलसी का सेवन करें।

दाल

दालें कई तरह की होती हैं। अधिकांश बीन्स, दाल, छोले और मटर में बहुत अधिक फाइबर होता है, जो पाचन को बढ़ावा देता है और कब्ज को कम करता है। आप लंच में दोपहर करीब 1 बजे रागी रोटी, घीया, हरी मूंग दाल खा सकते हैं। शाम के करीब 5 बजे आप खीरा, गाजर, चुकंदर के लड्डू के साथ हंग कर्ड डिप का सेवन कर सकते हैं। हंग कर्ड डिप बनाने के लिए आपको हंग कर्ड या दही, 2 खीरा, 1 मिर्च, 1/2 कद्दूकस किया हुआ चुकंदर, 4 लहसुन की कली और हरा धनिया चाहिए। 2017 के एक अध्ययन में पाया गया कि 100 ग्राम पकी हुई दालें यू।एस। में अनुशंसित दैनिक फाइबर सेवन का लगभग 26% प्रदान करती हैं। रोजाना 100 ग्राम दाल कब्ज से राहत दिला सकती है।

हरी सब्जियां

हरी सब्जियां आपके बाउल मूवमेंट को आसान बनाने का सबसे अच्छा तरीका है। पालक, ब्रेसल्स, स्प्राउट्स और ब्रोकली जैसे साग न केवल पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं, बल्कि ये अपनी फाइबर सामग्री के कारण भी जाने जाते हैं। ये आपके पेट के लिए बहुत अच्छे हैं, जिससे बाउल मूवमेंट में दिक्कत नहीं होती। एक शोध में सामने आया है कि हेल्‍दी लोगों ने 4 सप्ताह तक रोजाना 20 ग्राम कच्ची ब्रोकली या 20 ग्राम अल्फाल्फा स्प्राउट्स खाया। शोधकर्ताओं ने पाया कि जिन लोगों ने ब्रोकली खाए उनमें कब्ज के लक्षण कम थे और मल त्याग तेज था।

अलसी के बीज

फाइबर से भरपूर खाद्य पदार्थों के अलावा अलसी के बीज आपके पेट के स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद हैं। अलसी में विरेचक गुण होते हैं। इसके सेवन से मल त्यागने में आसानी होती है। इनके उपयोग से मलाशय की सफाई करने में आसानी होती है। इसके सेवन से बहुत अच्छे परिणाम मिल सकते हैं। पर ध्यान रखें, इन्हें पूरा ना खाएं, वरना इन्हें पचाना मुश्किल हो जाएगा।

फल खाएं

कीवी, संतरा, नाशपति और सेब जैसे फल पाचन के लिए बहुत अच्छे माने जाते हैं। कब्ज से परेशान रहने वाला कोई भी व्यक्ति इन फलों का सेवन करके राहत महसूस कर सकता है। दरअसल, इन सभी फलों में फाइबर की मात्रा बहुत अच्छी होती है। इसके अलावा इनमें पर्याप्त मात्रा में पानी, सोर्बिटोल और फ्रुक्टोज भी होते हैं, जो कब्ज के इलाज के लिए बहुत उपयोगी हैं।

इसबगोल भूसी

रात के खाने से पहले 1 चम्मच इसबगोल की भूसी गुनगुने पानी के साथ लें। रात के खाने में आप शाम के करीब 7 बजे सब्जियों वाला पुलाव खा सकते हैं। अपने दिन का अंत एक गिलास दूध के साथ करें। आप इसमें 1/2 छोटा चम्मच ऑर्गेनिक घी, एक चुटकी दालचीनी और एक चुटकी काली मिर्च मिक्स कर सकते हैं।

रागी

कब्ज होने पर रागी का सेवन करें. रागी में डायट्री फाइबर होते हैं जो पाचन ठीक करने और पेट को स्‍वस्‍थ रखने के लिए आवश्‍यक पोषक तत्‍व है। रागी में मौजूद फाइबर आपके पाचन को ठीक रहता है और कब्‍ज की परेशानी को कम करता है। इसलिए अपने खाने में गेहूं की रोटी की जगह रागी की रोटी खाएं।