जब किशोर दा ने जताई 'भगवान कृष्ण को कटघरे में खड़ा करने की इच्छा...'

अपने नटखट और मस्तमौला अंदाज के लिए माने जाने वाले किशोर कुमार का आज जन्मदिन हैं। किशोर कुमार के जीवन से जुड़े कई किस्से हैं जिनकी जानकर हंसने का मन करता हैं और ऐसा महसूस होता है कि ये दिग्गज ऐसा भी हो सकता है क्या? लेकिन ये सच हैं उनके नटखट पन के कई किस्से बॉलीवुड में बहुत प्रचलित है। आज इस जन्मदिन के मौके पर आज हम आपको किशोर कुमार का एक ऐसा किस्सा बताने जा रहे हैं जब उनको अचानक से भाषण देने की इच्छा हुई। तो आइये जानते हैं इस रोचक किस्से के बारे में।

एक बार जब वे जुहू के अपने बंगले से ताड़देव जा रहे थे, तब गाड़ी अब्दुल्ला चला रहा था। वही अब्दुल्ला, जो दादा का ड्राइवर-सेक्रेटरी, सब कुछ था। दादा उस समय फिएट की अगली सीट पर बैठे कुछ गुनगुना रहे थे कि गाड़ी दादर में शिवाजी पार्क के सामने से गुजरी। दादा अचानक मुड़कर पीछे बैठे दोस्त से कहने लगे- ‘मेरी इच्छा है कि मैं इस पार्क में भाषण दूं।’ टॉपिक क्या होगा? इसके जवाब में दादा बोले- ‘मैं भगवान कृष्ण को कटघरे में खड़ा कर दूंगा!’

अपने दोस्त के चेहरे पर उभरे हैरानी के भाव को पढ़ते हुए उन्होंने स्पष्ट किया- ‘संभव है कि पचास की उम्र पार कर चुके लोग मेरे ऊपर गोबर फेंकें, लेकिन यकीन है कि मेरी बात मानकर पचास के अंदर वाले मुझे फूल-माला पहनाएंगे। अरे भाई, मैं जानना चाहता हूं कि कृष्ण ने 16 हजार गोपिकाओं संग रास कैसे रचाया? किसी एक पुरुष के लिए यह मुमकिन नहीं है।’