संजय लीला भंसाली के निर्देशन में बनी फिल्म पद्मावत पर जारी विवाद थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। करणी सेना अभी भी फिल्म की रिलीज का विरोध कर रही है। राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष लोकेंद्र सिंह कालवी 'पद्मावत' फिल्म देखने के अपने बयान से अब पलटते नजर आ रहे हैं।
दरअसल, सोमवार को यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ से मुलाकात के बाद कालवी ने कहा था कि उन्हें संजय लीला भंसाली की फिल्म देखने के लिए पत्र मिला है। उन्होंने कहा था कि वह पद्मावत देखने के लिए तैयार हैं, पर भंसाली ने अभी फिल्म देखने की तारीख नहीं बताई है, लेकिन मंगलवार को कालवी अपने बयान से पलट गए और फिल्म देखने से साफ इनकार कर दिया। उन्होंने कहा है कि वह इसे नहीं देखेंगे और अपना विरोध जारी रखेंगे। उन्होंने फिल्म का प्रदर्शन करने वाले थियेटरों से इस पर रोक लगाने की अपील की है।
उधर, विश्व हिंदू परिषद (वीएचपी) के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष प्रवीण तोगड़िया के फिल्म पद्मावत को लेकर विरोध के बाद हार्दिक पटेल भी फिल्म की रिलीज पर रोक के समर्थन में उतर गए हैं। खबर है कि पाटीदार अनामत आंदोलन समिति के मुखिया हार्दिक पटेल ने गुजरात के सीएम विजय रुपाणी को पत्र लिखकर रिलीज पर रोक लगाने की बात कही है।
कालवी ने एक निजी चैनल से बातचीत में कहा, 'भंसाली ग्रुप का पत्र आया था, लेकिन वह धोखा था, साजिश थी। वह चाहता था कि हम फिल्म देखने से इनकार कर दें। भंसाली फिल्म दिखाना नहीं चाह रहे हैं। मैं आज पोरबंदर जा रहा हूं। सेंसर बोर्ड ने भी 3 लोगों को फिल्म दिखाई थी, 6 लोगों को नहीं।' कालवी ने भंसाली को धमकी भी दी और कहा कि अगर वह फिल्म रिलीज करेंगे तो उन्हें गंभीर परिणाम भुगतना होगा।
वही सुप्रीम कोर्ट ने पद्मावत फिल्म की रिलीज पर रोक लगाने की मांग को लेकर दाखिल राजस्थान और मध्य प्रदेश सरकार की याचिका को खारिज कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि वह अपने आदेश में कोई बदलाव नहीं करेगा और सभी राज्यों को आदेश का पालन करने को कहा है। इसके बाद यह फिल्म पूरे देश में 25 जनवरी को ही रिलीज होगी।