विवाद के बाद 'कोरोनिल' पर पतंजलि आयुर्वेद का यू-टर्न, कहा - नहीं बनाई कोरोना की दवा
By: Pinki Tue, 30 June 2020 12:57:27
कोरोना की दवा बनाने का दावा करने के बाद पतंजलि आयुर्वेद की मुश्किलें बढ़ गई थी। हालाकि, बढ़ते विवाद को देखते हुए पतंजलि आयुर्वेद ने यू-टर्न ले लिया है। उत्तराखंड आयुष विभाग से मिले नोटिस के जवाब में पतंजलि ने कहा है कि उसने कोरोना की कोई दवा नहीं बनाई है। हाल ही में योगगुरु बाबा रामदेव (Yoga Guru Ramdev) और आचार्य बालकृष्ण (Acharya Balkrishna) ने कोरोनिल दवा लॉन्च की थी। कोरोनिल दवा को लेकर कहा गया था कि यह कोरोना के इलाज में कारगर है।
आयुष मंत्रालय के नोटिस से घिर जाने के बाद कोरोना की दवा बना लेने के अपने दावे से स्वामी रामदेव की पतंजलि आयुर्वेद पलट गई है। उत्तराखंड के आयुष विभाग को भेजे गए नोटिस के जवाब में पतंजलि की ओर से कहा गया है कि उन्होंने कभी भी कोरोना की दवा बनाने का दावा नहीं किया। बल्कि उन्होंने एक ऐसी दवाई बनाई है जिससे कोरोना के मरीज ठीक हुए हैं।
पतंजलि आयुर्वेद के अध्यक्ष आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि पतंजलि आयुर्वेद अब भी अपने दावे और दवा पर कायम है। हमने कभी भी कोरोना वायरस की दवा बनाने का दावा नहीं किया है। सरकार की अनुमति और उनकी गाइडलाइन के हिसाब से जो दवा तैयार की गई है उससे कोरोना के मरीज ठीक जरूर हुए हैं। आयुष विभाग की ओर से जारी नोटिस का जवाब दे दिया गया है।
बता दें कि पिछले 23 जून को पतंजलि आयुर्वेद ने राजस्थान की निम्स यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर कोरोना की दवा बनाने का दावा किया था। पतंजलि आयुर्वेद की ओर से जो दवा पेश की गई थी उसका नाम कोरोनिल और श्वासारी बटी रखा गया था। इस दवा को लॉन्च करने के दौरान पतंजलि आयुर्वेद की ओर दावा किया गया था कि कोरोना मरीजों पर इसका क्लिनिकल टेस्ट भी किया गया है।
पतंजलि आयुर्वेद की ओर से किए गए इस दावे के बाद स्वास्थ्य मंत्रालय के आयुष विभाग ने पतंजलि आयुर्वेद के इस दावे को नकार दिया था। यहां तक की स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से बताया गया कि पतंजलि आयुर्वेद ने इस दवा के लिए अभी तक कोई लाइसेंस भी नहीं लिया है।
मामला बढ़ने के बाद उत्तराखंड के आयुष विभाग की ओर से बताया गया कि पतंजलि आयुर्वेद की ओर से इम्यूनिटी बूस्टर बनाने का लाइसेंस लिया गया था, जबकि पतंजलि आयुर्वेद की ओर से कोरोना की दवा बनाने का दावा किय गया है।