मेक्सिको में दौड़ते दिखे 'डायनासोर', वीडियो देखने के बाद हर कोई हैरान

मेक्सिको के जंगल से एक ऐसा वीडियो सामने आया है जिसको एक बार देखने पर ऐसा प्रतिक हो रहा है कि डायनासोर किसी छोटी नदी के एक तरफ से दूसरी तरफ जा रहे हैं। ये समूह में है। इन डायनासोरों में कुछ छोटे हैं तो कुछ बड़े आकार के।वीडियो में नजर आ रहा है कि ये सभी गाढ़े भूरे और काले रंग के हैं। इनमें से कुछ की लंबी गर्दन है। कुछ की छोटी। मजबूत पीठ है और पिछला हिस्से में पूंछ नहीं है। इनमे से कुछ तो बेहद तेजी से भागते दिख रहे हैं।

असल में ये डायनासोर नहीं नेवले जैसे जीव हैं। इनका नाम कोएटिस या कोएटिमुंडिस (Coatis or Coatimundis) हैं। कोएटिस जिस तरह से पूंछ उठाकर तेजी से भागता है। उसे दूर से देखने पर आपको यही लगेगा कि डायनासोर चल रहे हैं। ये जीव 13 से 27 इंच लंबे होते हैं और इनका वजन 2 से 8 किलोग्राम होता है। इनकी पूंछ इनके शरीर से ज्यादा बड़ी या बराबर आकार की होती है। इनका शरीर बेहद लचीला, हल्का, तेज दौड़ने वाला होता है। इनकी काबिलियत ये है कि बिना पीछे देखे अपनी पूंछ हवा में लहराते हुए तेज से भाग सकते हैं। इनके पंजे भालू और रकून की तरह होते हैं। जबकि मुंह सुअर के थूथन की तरह होता है। ये दक्षिण अमेरिका, मध्य अमेरिका, मेक्सिको और दक्षिण-पश्चिम अमेरिका में पाए जाते हैं। इनके समूह में 25 या उससे कम सदस्य होते हैं। ये जिस भी जगह से निकलते हैं, वहां तेजी से भागते हैं। बहुत शोर मचाते हैं। नर मादाओं के पास तभी जाता है जब उसे प्रजनन करना होता है। या मादा भी उसे तभी बुलाती है।

कोएटिस मांसाहारी और शाकाहारी दोनों होते हैं। ये जमीन पर पड़ा कचरा, अकशेरुकीय जीव, टैरेंटुला मकड़ी, फल, चिड़ियों के अंडे, छिपकलियां, चूहे आदि भी खा जाते हैं। कई बार तो मगरमच्छ के अंडे भी खा लेते हैं। ये थोड़ा गर्म इलाकों में रहना पसंद करते हैं। जहां पर ज्यादा नमी होती है। जैसे- एरिजोना, न्यू मेक्सिको, टेक्सास से लेकर उरुग्वे तक। आम तौर पर ये सात साल तक जीते हैं अगर इनका कोई जानवर शिकार न कर ले। या इन्हें कोई बीमारी न हो। अगर इन्हें चिड़ियाघर में रखा जाता है तब ये कम से कम 10 साल तक जी सकते हैं।

कोएटिस खतरा महसूस होने पर भयानक लड़ाके बन जाते हैं। अपने नुकीले दांतों से हमला कर देते हैं। पंजों से छील देते हैं। इनका शिकार भी होता है। इन्हें सबसे ज्यादा खतरा एनाकोंडा, प्यूमा, भेड़िये, लोमड़ी, कुत्ते, जगुआर जैसे जीवों से रहता है। कई बार बाज या चील भी इनको अपना शिकार बना लेते हैं।