जयपुर डंपर हादसे के बाद बीजेपी ने रोकी SIR कार्यशाला, CM भजनलाल ने मंत्रियों को राहत कार्य में लगाया

जयपुर: राजधानी जयपुर के हरमाड़ा इलाके में सोमवार सुबह लोहा मंडी रोड पर एक बेकाबू डंपर ने तबाही मचा दी। इस भीषण हादसे में कई लोगों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक दर्जन से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। हादसे की खबर मिलते ही पूरे शहर में शोक की लहर दौड़ गई। घटना की सूचना मिलते ही बीजेपी ने कृषि अनुसंधान केंद्र में चल रही “मतदाता गहन पुनरीक्षण (SIR)” कार्यशाला को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया। प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने अपने निर्धारित संबोधन को रद्द करते हुए सभी पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि वे तुरंत राहत कार्यों में जुटें और घायलों की सहायता करें।

मुख्यमंत्री ने दी त्वरित कार्रवाई के निर्देश

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने हादसे की जानकारी मिलते ही मंच से ही स्थिति पर संज्ञान लिया। उन्होंने अपने भाषण को बीच में रोकते हुए उपमुख्यमंत्री एवं परिवहन मंत्री प्रेमचंद बैरवा को तुरंत घटनास्थल पर रवाना किया। साथ ही सीएम ने घायलों को तेजी से अस्पताल पहुंचाने के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाने के आदेश दिए। मुख्यमंत्री ने जयपुर के एसएमएस और कांवटिया अस्पताल के अधिकारियों से सीधा संवाद कर घायलों की स्थिति की जानकारी ली और उन्हें हर संभव चिकित्सकीय सुविधा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा — “यह घटना अत्यंत दुखद और पीड़ादायक है। राज्य सरकार हर प्रभावित परिवार के साथ खड़ी है। घायलों के इलाज में किसी भी प्रकार की कमी नहीं रहनी चाहिए।”

मंत्रियों को सौंपी गई अस्पतालों की जिम्मेदारी

मुख्यमंत्री ने राहत व्यवस्था को सुचारू बनाने के लिए अपने मंत्रिमंडल के सदस्यों को अलग-अलग अस्पतालों की जिम्मेदारी सौंपी। कांवटिया अस्पताल में मंत्री झाबर सिंह खर्रा और के.के. बिश्नोई को भेजा गया, वहीं एसएमएस अस्पताल में मंत्री सुरेश रावत और सुमित गोदारा को घायलों की देखरेख के निर्देश दिए गए। सीएम ने कहा कि घायलों के उपचार में कोई कमी न हो और उनके परिजनों को हर संभव सहायता दी जाए।

बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष का बयान

बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने हादसे पर गहरा दुख जताया और कहा कि यह एक दर्दनाक घटना है, जिसने कई परिवारों को उजाड़ दिया। उन्होंने कहा — “जब से हादसे की खबर मिली, उसी वक्त SIR कार्यशाला स्थगित करने का निर्णय लिया गया। हमारे सभी कार्यकर्ताओं को राहत कार्य में लगाया गया है।” राठौड़ ने सड़क सुरक्षा पर चिंता जताते हुए कहा कि ट्रैफिक नियमों की अनदेखी और वाहन चलाने में लापरवाही ऐसी घटनाओं की जड़ है। उन्होंने कहा — “नियम तो बने हैं, लेकिन उनका पालन नहीं हो रहा। कोई भी बिना उचित प्रशिक्षण के ड्राइविंग सीट पर बैठ जाता है और शॉर्टकट के चक्कर में दूसरों की जान जोखिम में डाल देता है।” राठौड़ ने वाहन फिटनेस और ड्राइविंग लाइसेंस प्रणाली को सख्ती से लागू करने की मांग की। उन्होंने कहा कि जब तक लाइसेंस और वाहन फिटनेस की प्रक्रिया को पारदर्शी और सख्त नहीं बनाया जाएगा, तब तक इस तरह की घटनाएं रुक नहीं पाएंगी।

राज्य में शोक की लहर

जयपुर में हुए इस हादसे ने पूरे प्रदेश को झकझोर दिया है। मृतकों के परिवारों में मातम का माहौल है, वहीं घायलों के परिजनों में चिंता व्याप्त है।
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने दिवंगत आत्माओं की शांति के लिए प्रार्थना की और शोक संतप्त परिवारों को इस दुख की घड़ी में संबल देने की ईश्वर से कामना की।