कारगिल विजय दिवस : 74 दिन तक कुछ इस तरह चला था यह पूरा घटनाक्रम

26 जुलाई 1999 का दिन हर भारतीय के लिए सम्मान का दिन हैं जब बाह के 400 रणबांकुरों ने सीमा पर अपनी बहादुरी से पाकिस्तान को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया था। इस युद्ध में पकिस्तान की तरफ से धोखाधड़ी देखने को मिली जिसका हमारे सेना के जवानों ने मुंहतोड़ जवाब दिया था। हर साल यह दिन इस जंग में शहीद हुए 527 वीर योद्धा के सम्मान के तौर पर कारगिल विजय दिवस के रूप में मनाया जाता हैं। कारगिल की यह लड़ाई 18 हजार फीट की ऊंचाई पर लड़ी गई थी। 74 दिन तक चले इस युद्ध की शुरुआत पकिस्तान की तरफ से 3 मई 1999 को ही कर डी गई थी। आज हम आपको इस युद्ध के पूरे घटनाक्रम की सिलसिलेवार जानकारी देने जा रहे हैं।

3 मई, 1999 : एक चरवाहे ने भारतीय सेना को कारगिल में पाकिस्तान सेना के घुसपैठ कर कब्जा जमा लेने की सूचनी दी।
5 मई : भारतीय सेना की पेट्रोलिंग टीम जानकारी लेने कारगिल पहुंची तो पाकिस्तानी सेना ने उन्हें पकड़ लिया और उनमें से 5 की हत्या कर दी।
9 मई : पाकिस्तानियों की गोलाबारी से भारतीय सेना का कारगिल में मौजूद गोला बारूद का स्टोर नष्ट हो गया।
10 मई : पहली बार लदाख का प्रवेश द्वार यानी द्रास, काकसार और मुश्कोह सेक्टर में पाकिस्तानी घुसपैठियों को देखा गया।

26 मई : भारतीय वायुसेना को कार्यवाही के लिए आदेश दिया गया।
27 मई : कार्यवाही में भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान के खिलाफ मिग-27 और मिग-29 का भी इस्तेमाल किया और फ्लाइट लेफ्टिनेंट नचिकेता को बंदी बना लिया।
28 मई : एक मिग-17 हैलीकॉप्टर पाकिस्तान द्वारा मार गिराया गया और चार भारतीय फौजी मरे गए।
1 जून : एनएच- 1A पर पकिस्तान द्वारा भरी गोलाबारी की गई।
5 जून : पाकिस्तानी रेंजर्स से मिले कागजातों को भारतीय सेना ने अखबारों के लिए जरी किया, जिसमें पाकिस्तानी रेंजर्स के मौजूद होने का जिक्र था।
6 जून : भारतीय सेना ने पूरी ताकत से जवाबी कार्यवाही शुरू कर दी।
9 जून : बाल्टिक क्षेत्र की 2 अग्रिम चौकियों पर भारतीय सेना ने फिर से कब्जा जमा लिया।
11 जून : भारत ने जनरल परवेज मुशर्रफ और आर्मी चीफ लेफ्टीनेंट जनरल अजीज खान से बातचीत का रिकॉर्डिंग जारी किया, जिससे जिक्र है कि इस घुसपैंठ में पाक आर्मी का हाथ है।
13 जून : भारतीय सेना ने द्रास सेक्टर में तोलिंग पर कब्जा कर लिया।
15 जून : अमेरिकी राष्ट्रपति बिल किलिंटन ने परवेज मुशर्रफ से फोन पर कहा कि वह अपनी फौजों को कारगिल सेक्टर से बहार बुला लें।

29 जून : भारतीय सेना ने टाइगर हिल के नजदीक दो महत्त्वपूर्ण चौकियों पोइंट 5060 और पोइंट 5100 को फिर से कब्जा लिया।
2 जुलाई : भारतीय सेना ने कारगिल पर तीन तरफ से हमला बोल दिया।
4 जुलाई : भारतीय सेना ने टाइगर हिल पर पुनः कब्जा पा लिया।
5 जुलाई : भारतीय सेना ने द्रास सेक्टर पर पुनः कब्ज़ा किया। इसके तुरंत बाद पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने बिल किलिंटन को बताया कि वह कारगिल से अपनी सेना को हटा रहें है।
7 जुलाई : भारतीय सेना ने बटालिक में स्तिथ जुबर हिल पर कब्जा पा लिया।
11 जुलाई : पाकिस्तानी रेंजर्स ने बटालिक से भागना शुरू कर दिया।
14 जुलाई : प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेई ने ऑपरेशन विजय की जीत की घोषणा कर दी।
26 जुलाई : पीएम ने इस दिन को विजय दिवस के रूप में मनाए जाने का किया।