अफगानिस्तान के पूर्व उपराष्ट्रपति अमरुल्लाह सालेह के घर से तालिबान ने करीब 47.96 करोड़ रुपए (6.5 मिलियन डॉलर) और 18 सोने की ईटें मिलने का दावा किया है। तालिबान ने यह भी कहा कि यह उन्हें मिले कुल पैसे का छोटा सा हिस्सा मात्र है। तालिबान के मुताबिक, पंजशीर पर उसके कब्जे के बाद उसने सालेह के ठिकाने पर कब्जा कर लिया है। तालिबान ने एक वीडियो जारी कर इसकी पुष्टि की है। बता दे, 15 अगस्त को अशरफ गनी के काबुल छोड़ने के बाद सालेह ने खुद को अफगानिस्तान का राष्ट्रपति भी घोषित कर दिया था। सालेह एक मात्र ऐसे नेता हैं जो अभी तालिबान के खिलाफ बगावती तेवर अपनाए हुए हैं। वे पंजशीर में नॉर्दर्न अलायंस के चीफ अहमद मसूद के साथ मिलकर तालिबान से लड़ रहे हैं। हालांकि, खबर है कि पंजशीर पर तालिबान के हमले के बाद अहमद मसूद और सालेह दोनों काजिकिस्तान भाग गए हैं।
वीडियो में देखा जा सकता है कि 4-5 तालिबानी लड़ाके एक घर में घुसे हुए हैं। यहां इन लोगों ने घर की तलाशी ली। तलाशी में कई सारे बैग बिखरे पड़े हैं। कुछ बैग में डॉलर और सोने की ईंटें भरी हुई थीं। अगर तालिबान का यह दावा सच है तो इससे विद्रोहियों के आंदोलन को बड़ा झटका लगा है। इससे पहले तालिबानी अमरुल्ला सालेह के घर तक पहुंच गए थे। उन्होंने सालेह की लाइब्रेरी में बैठकर तस्वीर भी जारी की थी। वीडियो तालिबान समर्थक अकाउंट से वायरल भी किए जा रहे हैं।अमरुल्लाह सालेह के भाई को तालियन ने मार डाला
बता दें तालिबानियों ने पंजशीर की लड़ाई में अमरुल्लाह सालेह के भाई रोहुल्लाह अजीजी को भी मार डाला है। इतना ही नहीं, तालिबान लड़ाके रोहुल्ला के शव को दफनाने तक नहीं दे रहे थे। रोहुल्ला पिछले कई दिनों से पंजशीर में तालिबान से मुकाबला कर रहे थे। वे नेशनल रेजिस्टेंस फोर्स के एक यूनिट के कमांडर भी थे। तालिबान ने दावा किया है कि उसके लड़ाकों ने पंजशीर पर पूरी तरह से कब्जा कर लिया है।