कांग्रेस ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फिल्म 'पद्मावत' के विरोध के नाम पर हो रही हिंसा पर बोलने और इसकी नैतिक जिम्मेदारी लेने के लिए कहा। कांग्रेस प्रवक्ता प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि हरियाणा के गुरुग्राम में एक स्कूल बस पर बुधवार को हुआ हमला इस मामले में और भी दुखद और शर्मनाक था कि कैसे मोदी और हरियाणा सरकार 'कानून और व्यवस्था को बनाए रखने में असफल' रहे हैं।
उन्होंने सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति ईरानी द्वारा हिंसा पर चुप्पी साधे रहने की भी आलोचना करते हुए कहा कि 'जो चौबीसो घंटे ट्वीट करती रहती हैं, वह क्या कर रही हैं, मोदी सरकार क्या कर रही है और वो कहां चली गईं हैं।'
उन्होंने कहा, "स्मृति ईरानी सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की प्रमुख हैं, जो (सेंसर बोर्ड) को नियंत्रित करता है। इस सेंसर बोर्ड ने एक फिल्म को प्रमाण पत्र दिया है। फिल्म को रिलीज की अनुमति दे चुका है और तब भाजपा शासित प्रदेशों में हिंसा फैल गई है।"
उन्होंने कहा, "इससे पता चलता है कि केंद्र और राज्यों, दोनों में भाजपा सरकारें विफल रही हैं। यह निंदनीय है कि न तो प्रधानमंत्री इस बारे में कुछ कह रहे हैं और न ही उनकी सरकारों में कोई इस पर बोल रहा है। राज्य सरकारें चुप्पी साधे हुए हैं। ये चुप क्यों हैं? कानून और व्यवस्था के लिए कौन जिम्मेदार है?"
उन्होंने कहा, "सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय के आदेश (फिल्म की स्क्रीनिंग कराने) की उपेक्षा की और इस हिंसा को रोकने के लिए कुछ भी नहीं किया।"
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि हरियाणा पिछले दो सालों में भारत की 'सामूहिक दुष्कर्म की राजधानी' बन गया है। भारतीय जनता पार्टी सरकार के राज में कानून और व्यवस्था की स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है।
उन्होंने कहा, "यह देश के लिए दुखद और शर्मनाक है। इससे पता चलता है कि हरियाणा सरकार कैसे विफल रही है। सरकार गंभीर नहीं है और जिम्मेदारी लेने के लिए तैयार नहीं है।"