लोकसभा चुनाव: सीट बंटवारे को लेकर बिहार में महागठबंधन को करना पड़ रहा है टकराव का सामना

पटना। राष्ट्रीय जनता दल के नेता तेजस्वी यादव आज दिल्ली जा रहे हैं और उनके कांग्रेस और वाम दलों के साथ सीट बंटवारे की अंतिम वार्ता में भाग लेने की संभावना है। सूत्रों के अनुसार, बिहार में महागठबंधन को आगामी लोकसभा चुनावों के लिए सीट-बंटवारे के समझौते पर संघर्ष का सामना करना पड़ रहा है, जिसमें राष्ट्रीय जनता दल (राजद), कांग्रेस और वाम दल समान सीटों पर दावा कर रहे हैं।

भारत निर्वाचन आयोग के राष्ट्रीय चुनाव कार्यक्रम के अनुसार, बिहार की 40 लोकसभा सीटों पर सात चरणों में 19 अप्रैल, 26 अप्रैल और मई की 7, 13, 20, 25 और 1 जून को चुनाव होंगे।

प्राप्त समाचारों के अनुसार राजद का 28 सीटों पर, कांग्रेस का नौ सीटों पर और वाम दलों का तीन सीटों पर चुनाव लड़ना तय है। लेकिन पूर्वी चंपारण, नवादा, हाजीपुर और गोपालगंज सीटों पर राजद और कांग्रेस को टकराव का सामना करना पड़ रहा है।

इस बीच, कटिहार सीट पर भी राजद, कांग्रेस और वाम दलों ने दावा किया है और यह देखना बाकी है कि क्या बेगूसराय सीट सीपीआई को दी जाएगी।


बेगुसराय और हाजीपुर भी भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के लिए प्राथमिकता वाली सीटें हैं। भाजपा को उम्मीद है वह 2019 के लोकसभा चुनावों में क्लीन स्वीप की तरह इस बार भी जीतेगी। केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस और गिरिराज सिंह वर्तमान में क्रमशः हाजीपुर और बेगुसराय सीटों का प्रतिनिधित्व करते हैं।

सीटों के बंटवारे को तय करने के लिए राजद नेता और बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव कांग्रेस और वाम दलों के साथ वार्ता में भाग लेने और संघर्ष का समाधान खोजने के लिए आज दिल्ली जा रहे हैं।

सोमवार को पत्रकारों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, एक-दो दिन में सब कुछ तय हो जाएगा। चर्चा अंतिम चरण में है और सब कुछ सुलझा लिया जाएगा।