अभिभावकों को हाईकोर्ट का बड़ा झटका, देनी होगी स्कूल फीस

पिछले 25 मार्च से कोरोना वायरस (Coronavirus) के बढ़ते संक्रमण को देखते ​हुए देश में लॉकडाउन (Lockdown) चल रहा है। लॉकडाउन की वजह से सभी स्कूल कॉलेज भी बंद हैं। ऐसे में स्कूलों की ओर से मांगी जा रही फीस ओ लेकर स्कूल और अभिभावकों के बीच तना-तनी चल रही है। ऐसे में पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में स्कूल फीस को लेकर आज सुनवाई हुई जिसमें कोर्ट का फैसला स्कूल को राहत देने वाला रहा। हाईकोर्ट ने प्राइवेट स्कूलों को राहत देते हुए कहा है कि वह स्कूल ट्यूशन फीस, एडमिशन फीस और एनुअल फीस चार्ज कर सकते हैं लेकिन ये फीस बढ़ाई नहीं जाएगी और पिछले साल 2019 की तरह ही चार्ज की जाएगी। इसके साथ ही हाईकोर्ट ने प्राइवेट स्कूलों को निर्देश दिया है कि अगर किन्हीं कारणों से कोई भी अभिभावक बच्चों की फीस नहीं भर पा रहा है तो उसकी दलील सुनी जाए और अगर किसी प्राइवेट स्कूल का खर्चा पूरा नहीं हो पा रहा है तो वो स्थानीय डिस्ट्रिक्ट एजुकेशन ऑफिसर को लिखित में बता सकता है। लेकिन प्राइवेट स्कूलों का अपने टीचिंग और नॉन टीचिंग स्टाफ को लगातार सैलरी दिए जाने की वजह से और बिल्डिंग पर और अन्य खर्चा हो रहा है इसलिए स्कूलों को राहत दी जानी चाहिए।

बता दें कि कोरोना महामारी के कारण लॉकडाउन के बाद से बंद पड़े 3 हजार से ज्यादा निजी स्कूल संचालकों ने पंजाब सरकार के सिर्फ ट्यूशन फीस लिए जाने के निर्देशों को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। गौरतलब है कि पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने भी इस मामले में अभिभावकों का साथ देते हुए कहा था कि निजी स्कूल लॉकडाउन के दौरान बच्चों के अभिभावकों से फीस नहीं वसूल सकते हैं।