BJP को सत्ता से बाहर करने का कारण बनेगा 'राम मंदिर' : शिवसेना

अयोध्या मुद्दे को लेकर बृहस्पतिवार को शिवसेना ने अपनी सहयोगी भाजपा पर एक बार फिर हमला बोला है। शिवसेना ने पार्टी के मुखपत्र ‘सामना’ में छपे संपादकीय में कहा राम मंदिर निर्माण पार्टी के लिए एक और ‘जुमला’ बन गया है और यह मुद्दा उसे सत्ता से बाहर करने का कारण बनेगा। पार्टी ने कहा कि हाल में तीन राज्यों में चुनावी हार से भाजपा जागी नहीं है तथा आर एस एस सरसंघचालक मोहन भागवत ने भगवद गीता के उपदेशों के संदर्भ में जो कुछ भी कहा, पार्टी उससे सीख लेने को तैयार नहीं है।

उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली पार्टी ने कहा, ‘‘श्री (मोहन) भागवत ने भगवद गीता का हवाला देते हुए कहा, ‘जो मैं करता हूं वही अच्छा। मैंने किया, मैंने किया, मैंने किया, ऐसा अहंकार करनेवाले किस काम के?’ उन्होंने भाजपा के लिए एक मार्गदर्शक सिद्धांत दिया है।’

शिवसेना ने कहा, ‘लेकिन इसका क्या फायदा? यह सरकार तो तीन राज्यों में मिली हार के बावजूद कुंभकर्ण की तरह नींद से उठने को तैयार नहीं है।’ शिवसेना ने कहा कि पूरा देश मंदिर निर्माण चाहता है। यही वजह है कि 2014 में भाजपा को वोट मिला। पार्टी ने कहा, ‘हालांकि ऐसा लगता है कि यह मुद्दा भी पार्टी के लिए एक और ‘जुमला’ बन गया है। इसकी ‘सत्ता से वापसी’ की यात्रा अब शुरू हो गयी है।’ भाजपा पर तंज कसते हुए संपादकीय में लिखा गया है, ‘भगवान राम के अच्छे दिन कब आयेंगे, जो 25 बरस से खुले तंबू में रह रहे हैं जबकि सत्ता पर बैठे लोग अपनी कुर्सियां गर्म कर रहे हैं।’

बता दे, भाजपा हाल में तीन अहम राज्यों राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ के चुनाव में कांग्रेस के हाथों परास्त हुई है।

बता दे, बुधवार को भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) महासचिव राम माधव ने कहा था कि राम मंदिर पर कांग्रेस ने जानबूझकर फैसला अटकाकर रखा है। कांग्रेस हमेशा से राम मंदिर मुद्दे को राजनीति के लिए इस्तेमाल करती आई है।