SC ने अयोध्या मामले में 40 दिन सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रखा, मुस्लिम पक्ष के वकील ने हिंदू महासभा का दिया नक्शा फाड़ा

अयोध्या मामले पर बुधवार को सुनवाई पूरी हो गई है। सुप्रीम कोर्ट ने विवादित जमीन पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। 23 दिन में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आएगा। आज तय वक्त से एक घंटे पहले ही सुनवाई खत्म हो गई। सुनवाई के दौरान कोर्ट में गहमागहमी रही। मुस्लिम पक्ष के वकील ने हिंदू महासभा का दिया नक्शा फाड़ दिया था। इस पर चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने कहा कि ऐसा होता रहा तो हम उठकर चले जाएंगे।

चर्चा है कि सबसे बड़े दावेदारों में से एक सुन्नी वक्फ बोर्ड विवादित जमीन पर मालिकाना हक छोड़ने की अर्जी दाखिल की है, लेकिन चर्चा सुप्रीम कोर्ट के बाहर है। लेकिन, ऑल इंडिया बाबरी मस्जिद के संयोजक जफरयाब जिलानी ने कहा कि उन्हें इस संबंध में कोई जानकारी नहीं है। 134 साल पुराने अयोध्या विवाद मामले में सुन्नी वक्फ बोर्ड 58 साल से दावेदार है। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उसे रामलला विराजमान और निर्मोही अखाड़े के साथ बराबर की जमीन दी थी।

हिंदू महासभा के वकील वरुण सिन्हा ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा हौ और मामले पर फैसला 23 दिन में आएगा।

बुधवार को कोर्ट रूम में क्या हुआ

- हिंदू महासभा के वकील विकास सिंह ने विवादित जगह और मंदिर की मौजूदगी साबित करने के लिए पूर्व आईपीएस अफसर किशोर कुणाल की किताब ‘अयोध्या रिविजिटेड’ का हवाला देना चाहा। धवन ने इसे रिकॉर्ड का हिस्सा नहीं बताते हुए विरोध किया।

- विकास सिंह ने एक नक्शा पेश किया और उसकी कॉपी धवन को भी दी। धवन ने विरोध करते हुए नक्शे की कॉपी फाड़ना शुरू कर दी।

- धवन के तरीके पर चीफ जस्टिस ने नाराजगी जताते हुए कहा- आप चाहें तो पूरे पेज फाड़ सकते हैं।

- चीफ जस्टिस ने यह भी कहा- अगर इसी तरह चलता रहा, तो सुनवाई अभी पूरी कर दी जाएगी। फिर जिस भी पक्ष को दलील देनी होगी, वह लिखित में ले ली जाएगी।