सरिस्का से गायब टाइगर एसटी-13 को खोजने जंगल में उतरी 100 लोगों की 30 टीम, ढूंढने वाले को मिलेगा इनाम

राजस्थान के अलवर का सरिस्का अभ्यारण्य वन्यजीवों के लिए जाना जाता हैं जहां 14 जनवरी से टाइगर एसटी-13 गायब है। इसे खोजने के लिए वन विभाग ने कई प्रयास किए हैं और अब तो इसे ढूंढने वाले को इनाम देने की घोषणा भी की है। अंतिम प्रयास के तौर पर विभाग ने 100 कर्मचारियों की 30 टीम जंगल में उतारी हैं। सरिस्का प्रशासन बाघ एसटी-13 की खोज के लिए अलवर से लगे जिलों के वन अधिकारियों व वनकर्मियों के साथ पुलिस व प्रशासन की भी मदद ले रहा है। सरिस्का बाघ परियोजना के फील्ड डायरेक्टर आरएन मीणा ने बताया कि बाघ तक पहुंचने के लिए अमले को ट्रैप कैमरा भी उपलब्ध कराए गए हैं। जंगल में टाइगर के मूवमेंट पर भी नजर रखी जा रही है। इसके साथ ही स्थानीय स्तर पर हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए गए है। इसके लिए अलग-अलग कंट्रोल रूम भी बनाया गया है। इसके बाद भी यदि टाइगर नहीं मिला तो इसे आखिर में लापता घोषित कर दिया जाएगा।

एसटी-13 का अभी तक कोई सुराग नहीं मिला है। न तो उसे ट्रैप कर पा रहे हैं और न ही रडार पर उसकी लोकेशन ट्रेस हो रही है। ऐसे में कई अधिकारी सरिस्का पहुंचे और ग्रामीणों के साथ बैठक ली। यहां उन्होंने टाइगर की तलाश के लिए ग्रामीणों से मदद लेने का एलान किया। यहां बैठक में अधिकारियों ने घोषणा कर दी कि टाइगर के बारे में जानकारी देने और उसे ढूंढने में मदद करने वाले को इनाम दिया जाएगा।

टाइगर एसटी-13 सरिस्का सेंचुरी का सबसे ताकतवर टाइगर माना जाता है। जंगल में सबसे बड़ी टेरेटरी इसी टाइगर की थी। इस टाइगर की 4 टाइग्रेस से मेटिंग हुई थी। बताया जा रहा है कि सरिस्का प्रशासन के हाथ टाइगर का कोई सुराग नहीं लगा है। इस प्रयास में भी सफलता नहीं मिली तो टाइगर एसटी-13 लापता ही माना जाएगा। आशंका जताई जा रही है कि टाइगर का शिकार भी हो सकता है।