वर्तमान समय में देखा जा रहा हैं कि छोटे बच्चों के साथ कुकर्म के कई मामले सामने आ रहे हैं। जबकि कई मामले तो ऐसे हैं जिनका पता भी नहीं चल पाता हैं। इसका मुख्य कारण बनता हैं बच्चों की अनभिज्ञता। जी हां, बच्चों को जानकारी ही नहीं होती हैं कि उनके साथ कुछ गलत हो रहा हैं। ऐसे में पेरेंट्स की जिम्मेदारी होती हैं कि बच्चों को गुड टच और बैड टच के बारे में बताए। इसमें संकोच करने की जरूरत नहीं है। ये आपके बच्चे की सुरक्षा के लिए ही है। ये काम आप खेल-खेल में कार्टून दिखाते हुए या छोटी-छोटी कहानी के जरिये भी बता सकते हैं।
बच्चों को ऐसे बताएं, क्या होता है Good Touch Bad Touch
जब कोई आपको छूता है और उसके छूने से आपको प्यार का एहसास होता है या अच्छा लगता है या कोई छूकर आपको सुरक्षित महसूस करवाता है, तो इसे गुड टच कहते हैं। बच्चों को बताकर ही नहीं बल्कि खुद करके समझाएं। बच्चे को समझाएं कि जब आपका कोई दोस्त आपका हाथ पकड़ता है, तो उसे अच्छा फील होता है। उसे बताएं कि उसका शरीर सिर्फ उसका है और उस पर किसी और का हक नहीं है इसलिए कोई उसे वैसे नहीं छू सकता है, जो उसे पसंद न हो।
बुरा स्पर्श
जब किसी के छूने से आपको अजीब लगे और अच्छा महसूस ना हो तो ये बैड टच होता है। अगर कोई अनजान व्यक्ति गलत जगह या आपके प्राइवेट पार्ट्स को गलत छूने की कोशिश करे तो ये बैड टच होता है।
हाथ मिलाना
हाथ कई तरह से मिलाए जाते हैं। लेकिन हाथ मिलाने के अपने तरीके होते हैं। किसी-किसी के हाथ मिलाने से शरीर में ऊर्जा का संचार होता है, तो किसी के हाथ मिलाने से आप अनकंफर्टेबल महसूस करने लगते हैं। जैसे कि कई बार अनजान व्यक्ति हाथ मिलाते वक्त जोर से आपके हाथ को दबाता है या आपके करीब आता है तो ये गलत है। इस स्थिति में अपने बच्चे को तुरंत हाथ छोड़ने और उस अजनबी व्यक्ति से दूर रहने की सलाह दें।
शाबासी देना
ऐसा लड़कियों के साथ अक्सर होता है। स्कूल में कई टीचर्स पीठ पर शाबासी देने के वक्त ब्रा के हुक खोल देते हैं। ऐसी स्थिति में बच्चे को तुरंत कंप्लेन करने या घर पर बताने को कहें। अगर छोटी उम्र में बच्चे बोलना नहीं सीखेंगे तो वे बड़े होकर भी बोल नहीं पाएंगे।
गालों को टच करना
कई बार ऐसा होता है कि कोई बच्चा हमें पसंद आता है, तो सबसे पहले हम उसके गालों को चूम लेते हैं। ये तो हमारा प्यार होता है। लेकिन इसी तरह से अपने गलत इरादों को अंजाम देने के लिए लोग बच्चों के गाल को टच करते हैं। जिसके बारे में बच्चों को समझ नहीं आता कि उस फलाना आदमी के ही छूने से उन्हें बुरा क्यों लगा ?
फिर धीरे-धीरे बच्चे हर किसी के संपर्क में आने से डरने लगते हैं। ऐसे में बच्चे को पहले ही समझा दें कि गालों को छूने पर अगर अजीब महसूस होता है तो वे तुरंत रो सकते हैं या उस आदमी के ऊपर चिल्लाते हुए उनसे दूर हट सकते हैं।
कंधे में हाथ रखना
इस तरह की हरकत बस या पार्टीज़ में ज्यादा होती है। लोग बच्चों के कंधे पर हाथ रखकर उन्हें गलत तरीके से छूते हैं। कई बार तो कंधे पर हाथ रखकर लोग बच्चों को अपने करीब ले जाते हैं या बच्चों के करीब जाने की कोशिश करते हैं। इन सारी हरकतों से अपने बच्चों को सतर्क रहने के लिए कहें।
चॉकलेट देने के बहाने इधर-उधर छूना
हाइवे मूवी में आलिया भट्ट अपने अंकल से कहती है क्यों अंकल आज चॉकलेट नहीं लाए ? आज बाथरुम में नहीं ले चलेंगे ? या केवल उस फिल्म की घटना नहीं थी, बल्कि हर घर की घटना थी। हर किसी के जिंदगी में ऐसे अंकल जरूर होते हैं। लेकिन आपको अपने बच्चों को ऐसे अंकलों से दूर रखना है।
बच्चों से बातें शेयर करवाएं
ये सब बातें सिखाने के लिए अपने बच्चों को सबसे पहले ये विश्वास करवाएं कि वह आपसे कुछ भी शेयर कर सकते हैं। इसके लिए छोटी उम्र से ही बच्चों के साथ विश्वास का रिश्ता कायम करना शुरू कर दें। कुछ बच्चे अगर आपको बताते हैं, तो उस पर बच्चों को डांटने की जगह समझाएं। अगर आप डांटेंगी तो बच्चे आपसे डर जाएंगे और आपको कुछ बताएंगे नहीं। अगर वह कुछ गलत भी करता है तो उसे समझाएं कि ऐसा करना गलत है। फिर देखिएगा, बड़े होने पर आपको अपने बच्चे की चिंता नहीं करनी पड़ेगी। वे अपने साथ दूसरों के लिए भी आवाज उठा सकेंगे।