चोट को भरने का रामबाण नुस्खा है बची हुई चाय की पत्ती, जाने और फ़ायदे

चाय का उपयोग तो हर घर में किया जाता है, जिसको एक इस्तेमाल के बाद हम फैंक दिया जाता है। जबकि इस चायपत्ती को आप अन्य कई कामो में भी ले सकते हैं। आज हम उसी बची हुई चाय की पत्ती के बेहद उपयोगी गज़ब के इस्तेमाल के तरीके आपको बताएंगे जो स्वास्थ्य और बालों के साथ-साथ कितने ही ओर कामों के लिए काफी फायदेमंद है। आइये जानते चाय की पत्ती से जुड़े ओर भी फायदे।

# चोट ठीक करें

यदि हम चाय पत्ती को धोकर दुबारा उबाल लें और उस पानी से घाव धोएं इससे घाव जल्दी भर जाता है। इसमें एंटी ऑक्सीडेंट तत्व पाए जाते हैं,जो चोट को भरने में रामबाण की तरह काम करता है।

# गमले की खाद के लिए

गमले में पौधों को समय समय पर खाद की जरूरत होती है। एैसे में आप बची हुई चायपत्ती को साफ कर लें और गमले में डाल दें। इससे आपके पौधे स्वस्थ रहेगें।

# दाँतो के दर्द से राहत


चाय पत्ती दाँतो के दर्द से भी निजात दिलाता है। इसके लिए सबसे पहले आप एक बर्तन में ठंडे पानी को रख उसमे टी-बैग को भीगा दें। अब उस टी-बैग को अपने दाँतो पर लागए जहाँ दर्द हो रहा हो। इसे लगाते ही आपको तुरंत राहत महसूस होगी।

# बालों के लिए अमृत

चाय पत्ती का पानी बालों के लिए बहुत ही शानदार कंडीशनर का काम करता है। इसके लिए चाय पत्ती को धोकर दुबारा उबाल लें और इस पानी से अपने बालों को धोएं, इससे बाल खूबसूरत, चमकदार और सिल्की हो जाएंगे। इसके पानी से बाल धोने से सफेद नहीं होते।

# लकड़ी के फर्नीचर को चमकदार बनाने के लिए

बची हुई चायपत्तियों को दोबारा से पानी में उबाल लें और इसे किसी शीशी या फिर स्प्रे की बोतल में डाल दें। अब इससे लकड़ी से बने सामानों की सफाई करें। इससे शानदार चमक आती है।

# पैरों की बदबू दूर करें

कई लोग पैरों की बदबू या दुर्गन्ध से बहुत परेशान रहते है। लेकिन आप चाय पत्ती के इस्तेमाल से इस समस्या का निराकरण कर सकते है। आप चाय की पत्तियो को पानी में डाल कर बॉईल कर ले और ठंडा हो जाने पर इस पानी को किसी बर्तन में निकाल लें। अब उस पानी में अपने पैरों को कुछ देर तक रखे। ऐसा रोजाना करने से आपको इस समस्या से मुक्ति मिल जाएगी।

# सब्जी का रंग काला करें

अगर आप चना मसाला बना रहे हैं, तो बची हुई चाय पत्ती को दोबारा धो कर काबुली चने बनाते समय डाल दें इससे उसका रंग काला हो जाएगा और आपको उसमें आंवला डालने की जरूरत नहीं पड़ेगी।