देश के इन राम मंदिरों में उमड़ता हैं आस्था का सैलाब, पहुंचे यहां दर्शन करने

सनातन धर्म में अच्छे गुणों को अपनाने के लिए प्रभु श्री राम का उदाहरण दिया जाता हैं। भगवान श्री राम को मर्यादा पुरुषोत्तम राम के रूप में जाना जाता है। श्रीराम को सनातन हिन्दू धर्म में भगवान विष्णु का 7वां अवतार माना गया है जिनकी महिमा सारे जग में व्याप्त है। भारत के किसी भी हिस्से में चले जाएं आपको राम-नाम जरूर सुनने को मिल जाएगा। राम की इस महिमा से जोड़ने का काम करते हैं राम मंदिर। देश में एक से बढ़कर एक भव्य राम मंदिर हैं जिनके बारे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं। देश के इन राम मंदिरों में आस्था का सैलाब देखने को मिलता हैं। अगर आप भी प्रभु श्री राम के दर्शन कर भवसागर पार करना चाहते हैं, तो चले आइये इन राम मंदिर। आइये जानते है इनके बारे में...

त्रिप्रयार श्री राम मंदिर, केरल

त्रिप्रयार श्री राम मंदिर केरल के त्रिशूर जिले में है। यहां स्थापित मूर्ति के पीछे इस राम मंदिर की एक बहुत ही आकर्षक कहानी है। ऐसा माना जाता है कि त्रिप्रयार में रखी गई मूर्ति की पूजा भगवान कृष्ण द्वारा की जाती थी, जिन्हें भगवान विष्णु का अवतार भी माना जाता है। यह समुद्र में डूबा हुआ था और केरल के चेट्टुवा क्षेत्र के एक मछुआरे द्वारा स्थापित किया गया था। बाद में शासक-वक्कयिल कैमल ने उस मूर्ति को त्रिप्रयार मंदिर में स्थापित किया। एकादशी उत्सव इस मंदिर में एक भव्य उत्सव है। इस दौरान भगवान आर्यप्पा को दुनिया भर से 21 हाथियों और भक्तों के साथ निकाला जाता है।

रघुनाथ मंदिर, जम्मू कश्मीर

वैसे तो हर हिंदुस्तानी के रग-रग में राम बसते हैं, राम का स्थान समस्त देवताओं में सर्वोच्च है, लेकिन राम अलग-अलग भाषाई विविधताओं और पूजने की अलग-अलग प्रवृत्ति के हिसाब से पूजे जाते हैं। जम्मू कश्मीर का रघुनाथ मंदिर कश्मीर के महाराजा गुलाब सिंह ने सन् 1835 में करवाना प्रारंभ किया लेकिन इसका पूर्ण निर्माण महाराजा रणजीतसिंह के काल में संपन्न हो सका, रघुनाथ मंदिर अपने-आप में वास्तुकला का शानदार नमूना है। रघुनाथ मंदिर में राम के भव्य मंदिर के अतिरिक्त अन्य 7 ऐतिहासिक स्थल भी हैं, राम के प्रभुत्व के स्वयं साक्षी हैं। रामायण काल से जुड़ी घटनाओं के अनुरूप कई और मंदिर भी रघुनाथ मंदिर के निकट ही स्थित हैं।

राम जन्मभूमि, अयोध्या

श्रीराम के सबसे प्रमुख मंदिरों में उनकी जन्मस्थली है। मर्यादा पुरुषोत्तम राम का जन्म उत्तर प्रदेश के अयोध्या जिले में हुआ था। यहां उनके पिता राजा दशरथ का राज पाट था। राजा राम भी अयोध्या के ही राजा बने थे। सरयू नदी के तट पर बसे इस नगर को रामायण के अनुसार 'मनु' ने बसाया था। मध्यकाल में राम जन्मस्थान पर बने भव्य मंदिर को तोड़कर मुगल बादशाह बाबर ने मस्जिद स्थापित कर दी थी। जिसे लेकर दशको विवाह रहा। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने राम जन्मभूमि पर मंदिर बनाने की इजाजत दे दी और यहां भव्य राम मंदिर का निर्माण हो रहा है। दशहरा के मौके पर आप अयोध्या के राम मंदिर के दर्शन कर सकते हैं। इसके निकट ही हनुमानगढ़ी मंदिर स्थित है, जहां हनुमान का वास है।

रामास्वामी मंदिर, तमिलनाडु

रामास्वामी मंदिर भारत के प्रमुख राम मंदिरों में से एक है जो 16 वीं शताब्दी के समय का है। इस आकर्षक मंदिर को बेहतरीन पत्थर की नक्काशी से सजाया गया है। भगवान राम का यह मंदिर भारत के तमिलनाडु के कुंभकोणम में स्थित है। मंदिर का निर्माण 400 साल पहले अच्युत नायक के समय में इसका निर्माण किया गया था। रामास्वामी मंदिर एक बहुत ही खूबसूरत संरचना है जो हर साल भारी संख्या में भक्तों को अपनी ओर आकर्षित करती है। मंदिर बैठे हुए सीता एयर राम की छवि को चित्रित किया गया है। मंदिर में लक्ष्मण, भरत, और चतुरगुण खड़े हुए हैं और हनुमान प्रार्थना करते हुए दिखाई देते हैं। यहां पर तमिल महीने पंगुनी में राम नवमी का आयोजन किया जाता है, जिसे बड़ी ही धूम-धाम के साथ मनाया जाता है।

श्रीसीतारामचंद्र स्वामी मंदिर, आंध्रप्रदेश

आंध्रप्रदेश के खम्मण जिले के भद्राचलम शहर में स्थित सीतारामचंद्र स्वामी का ये मंदिर वनवासी जातियों के लिए कुल देवता की तरह मान्यता रखता है। राम हमेशा से ही वनवासियों के द्वारा पूजनीय रहे हैं। मान्यता के अनुसार जब राम, सीता और लक्ष्मण के संग वन जाने के लिये निकले थे तब उन्होंने गोदावरी के तट पर इन वनवासियों के संग कुछ समय बिताया था। जिसकी वजह से वनवासियों की कई पीढ़ियां राम भगवान को पूजती आ रही हैं। भद्राचलम से कुछ दूरी पर राम ने जो पर्णकुटी बनाकर यहां वास किया था, जिसे आज पर्णशाला के नाम से जाता है।

काला राम मंदिर, नासिक

काला राम मंदिर नासिक का सबसे प्रसिद्ध मंदिर है, जिसकी स्थापना 1790 में सरदार ओढ़ेकर ने की थी। यहां पर काले पत्थर की मूर्ति स्थापित है जिससे यह नाम पड़ा। मंदिर में श्री राम की मूर्ति के साथ माता सीता और लक्ष्मण की मूर्तियां हैं। मंदिर को बनवाने में 23 लाख का व्यय हुआ था और 2000 मजदूरों ने मिलकर 12 वर्षों में निर्माण कार्य को पूरा किया था। काला राम मंदिर के प्रांगण में गणेश, हनुमान जी के भी मंदिर हैं। मंदिर 70 फुट ऊंचा है और उसके गुम्बद पर सोने का पानी चढ़ा है।

श्री राम तीर्थ मंदिर, अमृतसर

श्री राम तीर्थ मंदिर पंजाब के अमृतसर में स्थित प्राचीन राम मंदिर है, जिसके बारे में माना जाता है कि यह वाल्मीकि के आश्रम का स्थान है। हिंदू महाकाव्यों के की माने तो सीता ने इस आश्रम में जुड़वाँ बालक लव और कुश को जन्म दिया था। इस मंदिर की वास्तुकला परंपरा और आधुनिकता के अद्वितीय मिश्रण है। इस मंदिर में मनाया जाने वाला लोकप्रिय त्यौहार चार दिवसीय राम तीर्थ मेला है जो नवंबर के महीने में लाखों भक्तों को आकर्षित करता है।

रामटेक मंदिर, महाराष्ट्र

रामटेक मंदिर भारत के प्रसिद्ध राम मंदिर में से एक है जो महाराष्ट्र राज्य में नागपुर से लगभग 57 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यह मंदिर स्थल भगवान राम को समर्पित एक लोकप्रिय तीर्थस्थल है। इस प्राचीन मंदिर के बारे में कहा जाता है कि बारिश के समय भगवान श्री राम ने इस जगह पर 4 महीने के लिए ठहरे थे। ऐसा भी माना जाता है कि उन्होंने इस जगह पर दैवीय शस्त्रों का ज्ञान और ब्रह्मास्त्र हासिल किया था।