ना करें मानसून के दिनों में इन 8 जगहों पर घूमने जाने की गलती, समय होगा बर्बाद

मानसून आते ही सभी खुशियां मनाने लगते हैं क्योंकि कड़कती धूप और गर्मियों से राहत मिलती हैं। मानसून सीजन में माहौल हरा-भरा हो जाता हैं और प्रकृति के नजारे मनमोहक दृश्य देते हैं। बारिश के सुहाने मौसम में सभी का मन प्रफुल्लित हो जाता हैं और घूमने जाने की चाह उठने लगती हैं। मानसून के मौसम में ठंडी-ठंडी हवाओं के बीच घूमने का अलग ही मजा है। लेकिन जरूरी नहीं कि बारिश के दिनों में हर जगह घूमने का मजा ही मिले। जी हां, देश की कुछ जगहें ऐसी हैं जहां मानसून के दिनों में घूमने जाना समय बर्बाद होना जैसा होता हैं। आज इस कड़ी में हम आपको कुछ ऐसी ही जगहों के बारे में बताने जा रहे हैं जहां मानसून के मौसम में जाने से बचना चाहिए।

मुंबई

मुंबई भारत का एक बहुत ही खूबसूरत शहर है जो अपने समुद्र तटों के लिए प्रसिद्ध है। अगर आप जुलाई से लेकर सितंबर तक के बीच में मुंबई घूमने की प्लानिंग कर रहे हैं। तो इस आइडिया को छोड़ दें। क्योंकि मुंबई और आसपास के इलाकों में बारिश की वजह से शहर का आकर्षण कम हो जाता है। बता दें कि अगर मुंबई में अगर थोड़ी ज्यादा भी बारिश हो जाती है तो यहां शहर में पानी भरा जाता है और बाढ़ जैसे हालात हो जाते हैं। यहां सड़कों में इतना ज्यादा पानी भरा जाता है कि वाहन निकलने में भी दिक्कत होती है। इसलिए मुंबई की सैर नवंबर से फऱवरी के बीच सही होती है।

स्पीति घाटी

अगर आप स्पीति घाटी घूमना चाहते हैं, तो हम आपको यही सलाह देंगे कि जुलाई के शुरूआती दिनों में यहां जितना यात्रा करना चाहते हैं उतना कर लें, क्योंकि बाद में मानसून के मौसम में आपको स्पीति घाटी में परेशानी हो सकती है। बता दें, मानसून में बारिश के समय यहां लैंडस्लाइड की समस्या अक्सर देखने को मिलती रहती है।

चेन्नई

मानसून के मौसम में दक्षिण भारत के शहर बेहद आकर्षक हो जाते हैं। लेकिन चेन्नई जाना इस मौसम में ठीक नही है। चेन्नई भी भारत का एक ऐसा शहर है जहां आपको बारिश में मौसम में कभी नहीं जाना चाहिए। चेन्नई में मानसून के मौसम में वहां के लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है। क्योंकि अधिकतर इस शहर में बाढ़ आ जाती है। जिसकी वजह से आप बाहर घूमने नहीं जा पाएंगे। जुलाई से लेकर सितंबर के महीने में चेन्नई शहर की सैर से बचना चाहिए। अगर आप बारिश के मौसम में चेन्नई की यात्रा करने की योजना बना रहें हैं तो अपनी इस यात्रा को कैंसिल कर दें तो बेहतर होगा।

उत्तराखंड

उत्तराखंड भारत का एक ऐसा राज्य है जो कई आकर्षक पर्यटन स्थलों से भरा हुआ है। हर साल बड़ी संख्या में पर्यटक उत्तराखंड की यात्रा करते हैं, लेकिन मानसून के मौसम में उत्तराखंड की यात्रा करना बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। हम ऐसा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि बरसात के मौसम में उत्तराखंड में लैंडस्लाइड होने और बादल फटने का खतरा रहता है। उत्तराखंड देश की एक ऐसी जगह है जहां की ज्यादातर सड़के पहाड़ों को काट कर बनाई गई हैं ऐसी में बारिश के मौसम में फिसलन की वजह से यहां किसी भी दुर्घटना का खतरा काफी बढ़ जाता है।

सिक्किम

बारिश के मौसम में उत्तरी पूर्वी राज्य बेहद खूबसूरत दिखने लगते हैं। जो भी लोग घूमने के शौकीन होते हैं उनके लिए सिक्किम एक बहुत ही खूबसूरत जगह है। सिक्किम की प्राकृतिक सुंदरता और हर भरा वातावरण भरी संख्या में पर्यटकों को आकर्षित करता है। लेकिन अगर आप इस मौसम में घूमने की इच्छा रखते हैं। तो काफी सोच समझकर ही पैकिंग बारिश के मौसम में सिक्किम का बुरा हाल हो जाता है। यहां की सड़के बारिश में इतनी खराब हो जाती हैं कि यह घूमने के लायक नहीं होती और यहां के हरे भरे पहाड़ भी इस मौसम में बादलों से ढक जाते है। अगर आप मानसून के मौसम में सिक्किम की यात्रा करने का प्लान बना रहें हैं तो अपनी इस यात्रा को रद्द कर दें।

हिमाचल प्रदेश
हिमाचल प्रदेश भारत का एक प्रमुख पर्यटन स्थल है जो अपने शिमला, मनाली और धर्मशाला जैसे पर्यटन स्थलों के लिए जाना जाता है। आपको बता दें कि अगर आप हिमाचल की यात्रा करना चाहते हैं तो साल में कभी भी कर सकते हैं लेकिन मानसून के मौसम में यहां की यात्रा करना सही नहीं रहेगा क्योंकि यहां कई ऐसे इलाके हैं जो बारिश के दौरान भूस्खलन, कटाव और बाढ़ के लिए अतिसंवेदनशील होते हैं।

लाहौल

लाहौल में तेज बारिश तो नहीं होती, लेकिन मानसून के मौसम में यहां की स्थिति भी कम खराब नहीं है। इस दौरान लाहौल पहुंचने के लिए कई इलाके और सड़कें पर्यटकों के प्लान के बीच रोड़ा बन जाते हैं। ज्यादा तेज बारिश के साथ, सड़कें और पास भी काफी खतरनाक हो जाते हैं।

गोवा

अगर आप भीड़भाड़ से बचने के लिए गोवा के सैर मानसून में करना चाहते हैं। तो ऐसा बिल्कुल भी ना करें। क्योंकि इस मौसम में गोवा ना घूमने की सलाह दी जाती है। गोवा के बीच इस मौसम में काफी गंदे हो जाते हैं। गोवा में मॉनसून सीजन मध्य मई से अक्टूबर तक रहता है। इस दौरान भी यहां पर्यटकों की संख्या ज्यादा नहीं होती है क्योंकि बारिश कभी भी आ सकती है। गोवा के समुद्र तटों के नीले आसमान को काले बादल घेर लेते हैं।