
बचपन से ही आपने बड़े-बुजुर्गों को यह कहते सुना होगा कि फर्श पर सोना सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है। पहले के जमाने में अधिकतर लोग फर्श पर ही सोते थे और आज भी जो लोग एक बार जमीन पर सोने के आदी हो जाते हैं, उन्हें मुलायम गद्दों पर नींद नहीं आती। खासकर गर्मियों में जब गद्दा गर्म हो जाता है, तब ठंडी जमीन पर सोने से बहुत सुकून मिलता है। यह आदत न सिर्फ आरामदायक होती है, बल्कि इसके कई स्वास्थ्य लाभ भी हैं। तो आइए जानते हैं कि जमीन पर सोना क्यों गद्दे की तुलना में शरीर के लिए ज्यादा लाभकारी है और क्यों आपको इसे अपनाने में देर नहीं करनी चाहिए।
रीढ़ की हड्डी रहती है सीधी और मजबूतजब आप हार्ड फर्श पर सोते हैं तो आपकी रीढ़ की हड्डी नेचुरल पोजीशन में बनी रहती है। इसके उलट, मुलायम गद्दे पर सोने से स्पाइन में झुकाव आ सकता है, जिससे पोस्चर खराब होने और पीठ दर्द का खतरा बढ़ जाता है। फर्श पर सोने से न सिर्फ आपकी रीढ़ सीधी रहती है, बल्कि पोस्चर में भी सुधार होता है और कमर दर्द जैसी समस्याएं दूर रहती हैं।
बेहतर होता है शरीर में रक्त संचारफर्श समतल होने की वजह से शरीर का वजन संतुलित रूप से बंटता है, जिससे शरीर के अलग-अलग हिस्सों पर अधिक दबाव नहीं पड़ता। इससे ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है और हर अंग तक ऑक्सीजन और पोषण की आपूर्ति सुचारू रूप से होती है। यही वजह है कि सुबह उठने पर शरीर ज्यादा ऊर्जावान और तरोताजा महसूस करता है।
अगर कमर दर्द है तो जमीन पर सोएंजिन लोगों को लंबे समय से कमर दर्द की समस्या है, उनके लिए फर्श पर सोना बेहद फायदेमंद साबित हो सकता है। जमीन पर सोने से पीठ को बेहतर सपोर्ट मिलता है और रीढ़ की हड्डी सीधी रहती है, जिससे स्पाइन पर दबाव नहीं पड़ता और कमर दर्द में राहत मिलती है।
नींद की गुणवत्ता में आता है सुधारफर्श पर सोने से नींद की गुणवत्ता बेहतर होती है क्योंकि शरीर को ज़मीन से जुड़ाव महसूस होता है। यह ग्राउंडिंग इफेक्ट माइंडफुल स्लीप को बढ़ावा देता है और मानसिक रूप से भी सुकून देता है। साथ ही, जमीन पर सोना अपेक्षाकृत ठंडा होता है जो शरीर को ठंडक पहुंचाकर अच्छी नींद दिलाता है।
मांसपेशियों की जकड़न होती है दूरगद्दे पर सोते समय शरीर का एलाइनमेंट बिगड़ सकता है जिससे मांसपेशियों में खिंचाव और जकड़न महसूस हो सकती है। जबकि फर्श पर सोते वक्त मांसपेशियों को नेचुरल तरीके से स्ट्रेच और रिलैक्स करने का मौका मिलता है। खासकर जिन लोगों को जांघ, कूल्हे और पैरों में अकड़न रहती है, उनके लिए यह आदत बहुत लाभकारी है।
डिस्क्लेमर: इस लेख में दी गई जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है। किसी भी सुझाव को अपनाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लेना जरूरी है।