गले की खिच-खिच से हैं परेशान, इन 5 आसान तरीकों से मिलेगा आराम

आज सुबह की बात है। मेरे पति नींद से उठते ही अपने गले को लेकर परेशान नजर आने लगे। वो बार-बार अह. . . अह. .. कर रहे थे। चाय पीते हुए मैंने उनसे पूछा क्या बात है आपके गले में कुछ अटक रहा है क्या। बोले ऐसा लगता है मुझे कुछ इंफैक्शन हो गया है। कल मैंने कहीं पर फ्रिज का ठंडा पानी पी लिया था, उसके बाद से मुझे गले में खराश महसूस हो रही है। शायद कुछ संक्रमण हो गया है। ऐसा सिर्फ मेरे पति के साथ ही हुआ हो, नहीं है बल्कि यह एक आम शिकायत है जो हर दूसरे व्यक्ति में बदलते मौसम की वजह से सुनने को मिल जाती है। आम तौर गले का संक्रमण बारिश के मौसम में ज्यादा फैलता है। बारिश के मौसम में कभी अत्यधिक ठंडी चीजें खाने या बहुत ज्यादा ठंडा पानी पीने की वजह से गले में खराश हो जाती है। इससे कई बार गले में टांससिल्स (गले का संक्रमण) भी हो जाते हैं। गले के संक्रमण में आहार नली में कुछ रुकावट से महसूस होती है जिसके चलते खाने और पीने में मुश्किल पैदा होती है। वैसे तो आजकल थोड़ी से तकलीफ होते ही चिकित्सक की सेवाएँ ली जाती हैं लेकिन यदि आप किसी चिकित्सक की सेवा न लेना चाहे तो बाबा-आदम के जमाने के घरेलू उपायों से भी इस तकलीफ से छुटकारा पा सकते हैं। डालते हैं एक नजर उन घरेलू उपायों पर जिनके चलते आप अपने गले के संक्रमण और खराश से छुटकारा पा सकते हैं।

गरम पानी के गरारे करना

यह ऐसा घरेलू नुस्खा है जिसे हम शताब्दियों से आजमाते आ रहे हैं। मुझे अच्छी तरह से याद है बचपन में जब कभी हमें आइसक्रीम खाने के बाद गले में खराश होती थी तो हमारी दादी-नानी, नाना-दादा कहते थे कि गरम पानी के गरारे कर लो सब कुछ ठीक हो जाएगा। और होता भी था। गले में खराश होने पर गुनगुना पानी पीना चाहिए। गुनगुने पानी में सिरका डालकर गरारे करने से गले की खराश दूर होती है और गले का संक्रमण भी ठीक हो जाता है। इसके अलावा गुनगुने पानी में नमक डालकर गरारे करना अचूक इलाज है। नमक के पानी से गरारे करने से पूरी तरह से बंद गला भी एक बार तो खुल जाता है।

दूध में पानी मिलाकर पिएं

दिन में कामकाज के कारण गले को आराम नहीं मिल पाता है। रात का वक्त ऐसा होता है जब गले को पूरी तरह से आराम मिलता है। इस वक्त हम गहरी नींद में होते हैं जिसके चलते हमारा गला भी आराम फरमाता है। यदि आप गले की खराश से ग्रस्त हैं तो रात को सोते समय दूध में आधी मात्रा में पानी मिलाकर पीना चाहिए। इससे गले की खराश कम होगी। यदि आप पानी वाला दूध नहीं पीना चाहते हैं तो दूध में हल्दी मिलाकर पीजिए। यह दूध भी बहुत फायदेमंद होता है।

काली मिर्च व तुलसी का काढ़ा

रात को सोने से आधा घंटा पहले एक कप पानी में 4 से 5 काली मिर्च एवं तुलसी की 5 पत्तियों को उबालकर काढ़ा बना लें और इस काढ़े को पी लीजिए। यह काढ़ा न सिर्फ आपके गले को दुरुस्त करेगा अपितु आपके मुंह में पैदा हुए अदृश्य कीड़ों को भी नष्ट करेगा। साथ ही यदि आपके दाँतों में दर्द वगैरहा है तो उसमें भी यह आपको आराम देगा।

पालक का रस

कई बार ऐसा होता है कि गले में खराश होने पर उसके बाहरी हिस्से पर कुछ सूजन व लालपन नजर आने लगता है। जो इस बात का संकेत होता है कि आप गले के संक्रमण से संक्रमित है। ऐसी स्थिति में आप पालक के पत्तों को पीसकर इसकी पट्टी बनाकर गले में बांधे और 30 मिनट तक इसे बांधे रखने के बाद खोल लें। इसके अलावा धनिया के दानों को पीसकर उसका पाउडर बनाएं और उसमें गुलाब जल मिलाकर गले पर लगाएं। इस उपाय से आपको बहुत आराम मिलेगा। जहाँ गले की सूजन में कमी आएगी वहीं दूसरी ओर लालाई भी खत्म हो जाएगी।

5. पिसी हुई काली मिर्च चाटें

आयुर्वेद डॉक्टरों का कहना है कि यदि आप गले की खराश से ज्यादा परेशान रहते हैं तो काली मिर्च को पीसकर घी के साथ चाटे, इस उपाय से भी आपको बहुत आराम मिलेगा। साथ ही काली मिर्च को 2 बादाम के साथ पीसकर सेवन करने से गले के रोग दूर हो सकते हैं।

ऊपर बताए गए घरेलू नुस्खों को आजमा कर देखा जा चुका है। इनसे फायदा होता है। यदि आप गले की खराश या फिर गले के संक्रमण से ग्रस्त हैं तो अपने आहार में थोड़ा परिवर्तन करें। इस बीमारी से ग्रसित होने पर अपने आहार में मांसाहार, रूखा भोजन, सुपारी, खटाई, मछली, उड़द इन चीजों से दूरी बनाए रखें ताकि आपका संक्रमण जल्द आपको छोड़ सके।

नोट: हम दावा तो नहीं करते हैं अपितु आश्वस्त जरूर कर सकते हैं कि इन तरीकों को आजमाने से आप अपनी गले की खराश से छुटकारा पा सकते हैं। यह लेखक के अपने विचार हैं। जरूरी नहीं है कि आप इससे सहमत हों।