#MeToo में फंसे वरिष्ठ पत्रकार विनोद दुआ, पीड़ित महिला ने लिखा- 'सॉरी मल्लिका, पर तुम्हारे पापा भी ऐसे ही हैं'

बॉलीवुड में तनुश्री दत्ता से शुरू हुआ #MeToo अब सिर्फ एक ही नाम तक सिमित नहीं रहा है। इस कैंपेन ने अब एक विकराल रूप ले लिया है जिसमे बड़ी-बड़ी हस्तियों को अपने लपेटे में लिया है। नाना पाटेकर, विवेक अग्निहोत्री, विकास बहल, पीयुष मिश्रा, आलोक नाथ, रजत कपूर,वरुण ग्रोवर,सुभाष घई, साजिद खान जैसे कई हस्तियों के चेहरे से शराफत का चोला उतार दिया है। अब यह सिर्फ बॉलीवुड तक ही सिमित नहीं रहा है इसमें अब पत्रकारिता जगत के एक वरिष्ठ पत्रकार को अपने लपेटे में लिया है। पत्रकार निष्ठा जैन ने फेसबुक के जरिए वरिष्ठ पत्रकार विनोद दुआ पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है। निष्ठा जैन ने फेसबुक पर एक लंबा-चौड़ा पोस्ट लिखकर विनोद दुआ के साथ दो घटनाओं का जिक्र किया है, जिनमें उनका उत्पीड़न किया गया।

पहली घटना का जिक्र करते हुए निष्ठा जैन लिखती हैं कि 1989 में वह इंटरव्यू के लिए विनोद दुआ से मिली थी। अपनी पोस्ट में उन्होंने लिखा है कि विनोद दुआ ने उन्हें देखते ही एक सेक्सुअल जोक मारा। वह लिखती हैं कि उन्हें जोक याद नहीं है लेकिन वह हंसने के लिए लायक बिल्कुल नहीं था। इसके आगे वह बताती हैं कि जब उन्होंने सैलरी के तौर पर 5000 रुपये मांगे, तो दुआ ने उनसे कहा था- 'तुम्हारी औकात है क्या?' निष्ठा जैन कहती हैं कि उस दिन उनका जन्मदिन था, लेकिन इस अनुभव की वजह से उनका पूरा दिन खराब हो गया। अपनी पोस्ट में दूसरी घटना का जिक्र करते हुए निष्ठा जैन ने लिखा, 'मुझे दूसरे ऑफिस में वीडियो एडिटर की नौकरी मिल गई। विनोद दुआ के दोस्त वहां काम करते थे। इसलिए उन्हें इस बारे में पता चल गया।' वह लिखती हैं, 'एक रात जब मैं अपने ऑफिस से निकलकर पार्किंग में पहुंची, तो दुआ वहां थे। उन्होंने कहा कि वह मुझसे बात करना चाहते हैं और मुझे अपनी कार में बुलाया। मुझे लगा कि वह अपने व्यवहार के लिए माफी मांगना चाहते हैं, मैं कार में बैठ गई। इससे पहले कि मैं संभल पाती, उन्होंने मेरे साथ छेड़छाड़ करनी शुरू कर दी। मैं वहां से बाहर निकली और ऑफिस की कार से घर चली गई।'

निष्ठा का कहना है कि इसके बाद दुआ कई दिनों तक उनका पीछा करते रहे, हालांकि, बाद में उन्होंने ऐसा करना छोड़ दिया। उन्होंने आगे लिखा, 'जब मैंने मल्लिका दुआ पर अक्षय कुमार के सेक्सिस्ट कमेंट के बारे में पढ़ा, तो मैंने खुद से कहा कि वह भूल गए हैं कि वह कम सेक्सिस्ट, महिलाओं से नफरत करने वाले और संभावित बलात्कारी नहीं हैं।'

निष्ठा कहती हैं, 'अगर उन्होंने यह मेरे साथ किया तो किसी और के साथ भी किया होगा।' आखिर में निष्ठा लिखती हैं- 'सॉरी मल्लिका, पर तुम्हारे पापा भी ऐसे ही हैं।'