भगवान शिव को देवों के देव महादेव के नाम से जाना जाता हैं क्योंकि भगवान शिव आम भक्तों के साथ देवों के दुखों का भी नाश करने के लिए जाने जाते हैं। सावन के इस महीने में तो सभी भक्तगण भगवान् शिव की पूजा करते हैं ताकि उनका आशीर्वाद पा सकें। लेकिन शिव की पूजा में थोड़ी सावधानी बरतने की भी जरूरत होती हैं। क्योंकि कई पदार्थ ऐसे हैं जो भगवान शिव को अर्पित नहीं किए जाते हैं। तो आइये हम बताते हैं औं पदार्थों के बारे में जो भगवान शिव को अर्पित नहीं किये जाते हैं।
* हल्दी भगवान शिव को हल्दी नहीं चढ़ानी चाहिए इसका कारण यह है शास्त्रों के अनुसार शिवलिंग पुरुष तत्व का प्रतीक है और हल्दी स्त्रियोचित वस्तु है। स्त्रियोचित यानी स्त्रियों संबंधित। इसी वजह से शिवलिंग पर हल्दी नहीं चढ़ाई जाती है।
* शंख से जल वैसे तो शँख को हिन्दु धर्म में बहुत पवित्र माना जाता है परन्तु भगवान शिव को शंख से जल चढ़ाना वर्जित कहा गया है और इनकी पूजा में शँख को बजाया भी नहीं जाता है।
* सिंदूर/कुमकुम अपने सुहाग की दीर्घायु /अच्छे स्वास्थ्य के लिए विवाहित स्त्रियां अपने माथे पर सिंदूर लगाती है, और सौभाग्य के लिए गौरी माँ को सिंदूर अर्पित करती है लेकिन भगवान शिव पर सिंदूर/कुमकुम नहीं चढ़ाया जाता है।
* केतकी के फूल शास्त्रों के अनुसार भगवान शिव का केतकी के फूल को श्राप है कि उनकी पूजा / उनके शिवलिंग पर कभी केतकी के फूल को अर्पित नहीं किया जाएगा। इसीलिए शिवलिंग पर कभी भी केतकी के फूल नहीं चढ़ाये जाते है अर्थात भगवान शिव को केतकी के फूल अर्पित करना अशुभ माना जाता है।
* लोहे/स्टील के बर्तन से जल भगवान शिव की पूजा में शिवलिंग पर लोहे / स्टील के बर्तन से जल नहीं चढ़ाना चाहिए उनको सदैव ताम्बे अथवा अष्ट धातु के बर्तन / लोटे से ही जल चढ़ाना चाहिए।