CRPF SI पर बलात्कार का आरोप, अश्लील वीडियो बनाकर करता रहा ब्लैकमेल, अलवर से फरार आरोपी महाराष्ट्र से गिरफ्तार

अलवर। राजस्थान के अलवर जिले में तैनात सीआरपीएफ के एसआई पर गंभीर आरोप लगे हैं। सदर थाना क्षेत्र की एक युवती ने उसके खिलाफ बलात्कार और अश्लील वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करने का मामला दर्ज कराया था। आरोपी मार्च 2025 से फरार चल रहा था और आखिरकार महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले से गिरफ्तार किया गया है। पुलिस अब आरोपी से गहन पूछताछ कर रही है और मामले की तफ्तीश तेजी से आगे बढ़ रही है।

विश्वासघात और ब्लैकमेलिंग की चौंकाने वाली दास्तां

पीड़िता ने बताया कि आरोपी विजय सिंह मीणा, जो मूल रूप से खेहरा मलावली गांव का निवासी है, वर्तमान में अलवर के विश्वकर्मा कॉलोनी में रह रहा था। दोनों के बीच जान-पहचान बढ़ी और एक दिन आरोपी ने युवती को अपने घर चाय पीने के बहाने बुलाया, जहां उसने दुष्कर्म किया। यही नहीं, आरोपी ने अश्लील फोटो और वीडियो बनाकर युवती को धमकाना शुरू कर दिया।

आरोपी लगातार सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल करने की धमकी देकर पीड़िता से शारीरिक संबंध बनवाता रहा। डर और सामाजिक बदनामी के कारण युवती चुप रही, लेकिन अंततः मानसिक रूप से परेशान होकर उसने सदर थाने में मामला दर्ज कराया।

आरोपी की पहचान और पुलिस की तफ्तीश

सदर थानाधिकारी रमेश सैनी के अनुसार, मामला दर्ज होते ही आरोपी की गिरफ्तारी के प्रयास शुरू कर दिए गए थे। जांच में पता चला कि आरोपी महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में सीआरपीएफ में एसआई के पद पर कार्यरत है, लेकिन वह काफी समय से ड्यूटी से भी गायब चल रहा था।

पुलिस ने सीआरपीएफ प्रशासन से संपर्क कर उसकी जानकारी जुटाई और न्यायालय से आरोपी को फरार घोषित कर वारंट जारी कराया गया। पुलिस लगातार दबिश देती रही और अंततः रविवार को उसे महाराष्ट्र से गिरफ्तार कर लिया गया।

मामले की गंभीरता और पुलिस का रुख

थानाधिकारी ने बताया कि पीड़िता का मेडिकल परीक्षण कराया गया और आरोपी के खिलाफ पर्याप्त तकनीकी और भौतिक साक्ष्य पुलिस के पास मौजूद हैं। आरोपी विजय सिंह मीणा को न्यायालय में पेश कर ट्रांजिट रिमांड पर लाकर पुलिस अब उससे विस्तृत पूछताछ कर रही है। इस मामले की हर कड़ी को जोड़कर पुलिस जांच को तेजी से आगे बढ़ा रही है।

न्याय की आस में पीड़िता

इस केस ने एक बार फिर यह सवाल खड़ा कर दिया है कि वर्दी पहनने वाले जिम्मेदार लोगों की आड़ में किस तरह अपराध पनप सकते हैं। पीड़िता के साहस ने इस मामले को उजागर किया, जिससे आरोपी कानून के शिकंजे में आ सका। अब देखना यह है कि न्याय व्यवस्था कितनी तेजी से दोषी को सजा दिलाती है।

अलवर की इस घटना ने समाज में सुरक्षा और भरोसे पर फिर से चोट पहुंचाई है। वर्दीधारी अपराधी की गिरफ्तारी ने यह स्पष्ट किया है कि कानून से कोई ऊपर नहीं है। अब आवश्यकता है कि पीड़िता को जल्द न्याय मिले और ऐसे मामलों में पुलिस और प्रशासन संवेदनशीलता के साथ सख्त कदम उठाए।