देहरादून। उत्तराखंड की एक सरकारी बस में एक किशोरी के साथ कथित सामूहिक बलात्कार के मामले में पुलिस ने रविवार को पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है। अधिकारियों ने बताया कि यह बस दिल्ली से देहरादून बस स्टैंड पर पहुंची थी।
देहरादून के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, गिरफ्तार किए गए लोगों में सरकारी बस का ड्राइवर और कंडक्टर शामिल हैं। उन्होंने बताया कि पुलिस को घटना की जानकारी शनिवार शाम को मिली जबकि घटना 12 अगस्त की है।
सूचना मिलते ही पुलिस हरकत में आई और सीसीटीवी कैमरों की जांच कर रोडवेज बस की पहचान की। इसके बाद बस के ड्राइवर और कंडक्टर समेत पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया। आरोपियों की पहचान उत्तराखंड के हरिद्वार के बुग्गावाला निवासी धर्मेंद्र कुमार (32) और राजपाल (57), हरिद्वार के भगवानपुर निवासी देवेंद्र (52), देहरादून के पटेल नगर निवासी राजेश कुमार सोनकर (38) और उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले के नवाबगंज निवासी रवि कुमार (34) के रूप में हुई है।
बस जब्त, फोरेंसिक टीम जुटा रही साक्ष्यएसपी सिंह ने बताया कि आरोपी धमेंद्र कुमार बस चालक है और देवेंद्र कंडक्टर है। रवि कुमार और राजपाल अन्य बसों के चालक हैं, जबकि सोनकर उत्तराखंड रोडवेज का कैशियर है और देहरादून बस स्टैंड पर तैनात है। घटना में इस्तेमाल की गई बस को पुलिस ने जब्त कर लिया है और फोरेंसिक टीम अंदर से साक्ष्य जुटा रही है।
पुलिस के अनुसार, यह घटना तब प्रकाश में आई जब देहरादून बाल कल्याण समिति (सीडब्ल्यूसी) को 12 अगस्त की देर रात देहरादून अंतरराज्यीय बस टर्मिनल (आईएसबीटी) के प्लेटफॉर्म नंबर 12 पर एक बेंच पर अकेली बैठी एक लड़की के बारे में सूचना मिली। उसकी सुरक्षा के लिए, देहरादून सीडब्ल्यूसी ने 16-17 साल की लड़की को बाल निकेतन, एक सरकारी बालिका गृह में भेज दिया, जहाँ उसने काउंसलिंग के दौरान अपने साथ हुई घटना के बारे में बताया। उसने अधिकारियों को कथित बलात्कार के बारे में बताया, जिसके बाद सीडब्ल्यूसी की सदस्य प्रतिभा जोशी ने शनिवार शाम को पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।
जोशी की शिकायत के आधार पर पटेल नगर पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 70 (2) और यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण (POCSO) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया। इसके बाद एसएसपी ने इलाके का निरीक्षण किया और एक विशेष जांच दल का गठन किया। उन्होंने पीड़िता से भी मुलाकात की।
शुरुआती जांच में लड़की ने बताया कि वह अनाथ है और पंजाब की रहने वाली है। हालांकि, बाद में उसने पुलिस को बताया कि वह उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद की रहने वाली है, जहां से वह दिल्ली गई और फिर कश्मीरी गेट आईएसबीटी से देहरादून के लिए बस पकड़ी। पुलिस ने बताया कि लड़की शुरू में अपना बयान बदलती रही, लेकिन पूछताछ के बाद उसने अपने परिवार के बारे में जानकारी दी।
इसके बाद पुलिस ने परिवार से संपर्क किया तो पता चला कि पीड़िता के माता-पिता जीवित हैं। पुलिस को यह भी बताया गया कि लड़की पहले भी बिना किसी को बताए घर से भाग चुकी है। हालांकि, हर बार जानकारी मिलने के बाद परिवार उसे घर ले आया।
बहरहाल, एसएसपी सिंह ने कहा कि आरोपी देवेंद्र ने पुलिस को बताया कि वह कश्मीरी गेट पर लड़की से मिला था, जब वह पंजाब पहुंचने के बारे में जानकारी मांग रही थी। कंडक्टर ने उसे देहरादून जाने वाली उसकी बस में चढ़ने का सुझाव दिया और फिर वह पंजाब के लिए दूसरी बस ले सकती है।
पुलिस ने बताया कि बस के देहरादून पहुंचने और सभी यात्रियों के उतर जाने के बाद देवेंद्र और ड्राइवर धर्मेंद्र ने कथित तौर पर लड़की के साथ बलात्कार किया। पास में खड़ी बसों के ड्राइवर रवि और राजपाल को इस बारे में पता चला और उन्होंने भी लड़की के साथ बलात्कार किया। पुलिस के अनुसार, देवेंद्र ने पुलिस को यह भी बताया कि वह पैसे जमा करने गया था और उसने कैशियर सोनकर को बताया जिसके बाद उसने भी लड़की के साथ बलात्कार किया।