
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में मध्यप्रदेश के इंदौर निवासी और भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) में ब्रांच मैनेजर के पद पर कार्यरत सुशील नाथानिएल की आतंकियों ने बेरहमी से हत्या कर दी। इस हमले में उनकी बेटी अकांक्षा के पैर में गोली लग गई, और वह फिलहाल अस्पताल में भर्ती हैं।
यह परिवार 19 अप्रैल को कश्मीर की यात्रा पर गया था। सुशील के साथ उनकी पत्नी जेनिफर, बेटा ऑस्टिन और बेटी अकांक्षा भी थे। सुशील के भाई, विकास नाथानिएल ने बताया कि आतंकियों ने सुशील से कलमा पढ़ने को कहा और जब उन्होंने बताया कि वह ईसाई हैं, तो आतंकियों ने उन पर गोली चला दी।
विकास नाथानिएल ने बताया कि मंगलवार रात करीब 9:30 बजे उनके भतीजे ऑस्टिन ने फोन किया और दुखद सूचना दी। ऑस्टिन ने बताया, 'भाभी जेनिफर ने बताया कि आतंकियों ने सुशील भइया से घुटनों के बल बैठकर कलमा पढ़ने को कहा। जब भइया ने कहा कि वह ईसाई हैं, तो आतंकी ने उन्हें गोली मार दी। हमारी भतीजी अकांक्षा के पैर में गोली लगी है।'
इसके अलावा, छत्तीसगढ़ के रायपुर निवासी व्यापारी दिनेश मिराणिया भी इस हमले में शहीद हो गए। जैसे ही उनकी मौत की खबर आई, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय, जो मुंबई में चल रही टेक्सटाइल और स्टील उद्योग की बैठक में थे, तुरंत अपनी यात्रा बीच में छोड़कर रायपुर लौट आए। मुख्यमंत्री ने कहा, मैं दो दिनों के लिए मुंबई दौरे पर था, लेकिन जैसे ही खबर मिली, मैं तुरंत लौट आया और दिनेश मिराणिया के अंतिम संस्कार में शामिल हुआ। उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने हमेशा पाकिस्तान को उचित जवाब दिया है, और इस बार भी भारत उसे सख्त सबक सिखाएगा।