तमिलनाडु: स्कूल वैन चालक को पड़ा दिल का दौरा, ऐसे बची 20 बच्चों की जान

तिरुपुर। तमिलनाडु के तिरुपुर जिले में 49 वर्षीय एक स्कूल वैन चालक ने वाहन को सड़क के किनारे सुरक्षित रूप से रोककर करीब 20 छात्रों की जान बचाई। कुछ ही क्षणों बाद, चालक बेहोश हो गया और संदिग्ध दिल का दौरा पड़ने से उसकी मौत हो गई। बाद में उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया।

स्कूली बच्चों के साथ ड्राइवर की सीट पर बेहोश बैठे सेमलैयाप्पन की एक तस्वीर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर वायरल हो गई है, जहां यूजर्स ने ड्राइवर के बहादुरी भरे काम को सलाम किया है।

यह घटना बुधवार, 24 जुलाई को हुई, जब सेमलैयाप्पन वेल्लाकोइल के एएनवी मैट्रिक स्कूल से छात्रों को उनके घरों तक छोड़ने के लिए ले जा रहे थे। उन्हें सीने में दर्द हुआ और बड़ी मुश्किल से उन्होंने गाड़ी को सड़क किनारे सुरक्षित तरीके से पार्क किया।

उल्लेखनीय है कि उनकी पत्नी भी उसी स्कूल में सहायक के तौर पर काम करती थीं और जब वे बेहोश हुए तो वैन में ही थीं।

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन समेत कई लोगों ने ड्राइवर के वीरतापूर्ण कार्य की प्रशंसा की, जिसने अपनी मौत के कगार पर खड़े बच्चों की जान बचाई। स्टालिन ने एक बयान में कहा, भले ही उनकी जान खतरे में थी, लेकिन उन्होंने स्कूली छात्रों की कीमती जान बचाई। हम उनके कर्तव्य और आत्म-बलिदान की भावना के लिए उन्हें सलाम करते हैं। वह अपने मानवीय कार्य के माध्यम से जीवित रहेंगे।

सीएम स्टालिन ने सेमलैयाप्पन के परिवार को 5 लाख रुपए का मुआवजा देने की घोषणा की। डीएमके मंत्री एमपी समीनाथन ने शोक संतप्त परिवार को चेक सौंपा।

शुक्रवार को निजी स्कूल के छात्रों और शिक्षकों ने वैन चालक को श्रद्धांजलि दी। स्कूल शिक्षा मंत्री अंबिल महेश ने भी परिवार से मुलाकात की और श्रद्धांजलि दी।