राज्‍यसभा में कृषि बिलों पर हंगामा जारी, सस्‍पेंड हुए 8 सांसदों ने फिर वेल में की नारेबाजी, सदन की कार्यवाही रुकी

राज्‍यसभा में हंगामा थमने का नाम नहीं ले रहा है। राज्यसभा में रविवार को कृषि बिल पर चर्चा के दौरान विपक्षी दलों के सांसदों ने जमकर हंगामा किया था। राज्यसभा के सभापति एम वेंकैया नायडू कल की घटना से नाराज दिखे। उन्‍होंने हंगामा करने वाले आठ सांसदों को बचे हुए सत्र के लिए निलंबित कर दिया है। सभापति एम वेंकैया नायडू ने सदन शुरू होते ही एक हफ्ते के निलंबन की घोषणा की। इसके बाद हंगामा हुआ तो सदन सुबह 10 बजे तक स्‍थगित कर दिया गया। दोबारा उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह ने कार्यवाही शुरू कराई तो सस्‍पेंड हुए सांसद फिर नारेबाजी करते हुए वेल तक पहुंच गए। सिंह ने उनसे सदन से बाहर जाने को कहा मगर वे नहीं माने। उपसभापति ने हंगामा बढ़ता देख सदन को फिर आधे घंटे के लिए स्‍थगित कर दिया।

नायडू ने सांसदों की लगाई क्‍लास

सभापति वेंकैया नायडू ने कहा कि कल हंगामे के दौरान सदस्यों का व्यवहार आपत्तिजनक और असंसदीय था। उन्होंने कहा कि कल का दिन राज्यसभा के लिए बहुत खराब दिन था। इस दौरान सदस्यों ने उपसभापति के साथ अमर्यादित आचरण भी किया। इस दौरान सदन में हंगामा जारी रहा। सरकार ने आठ विपक्षी सदस्यों को मौजूदा सत्र के शेष समय के लिए निलंबित करने का प्रस्ताव पेश किया, जिसे सदन ने ध्वनिमत से स्वीकार कर लिया।

इन्‍हें किया गया सस्‍पेंड

डेरेक ओ'ब्रायन (तृणमूल कांग्रेस)
संजय सिंह (आम आदमी पार्टी)
राजू साटव (कांग्रेस)
केके रागेश (सीपीआई-एम)
रिपुण बोरा (कांग्रेस)
डोला सेन (तृणमूल कांग्रेस)
सैयद नासिर हुसैन (कांग्रेस)
एलमाराम करीम (सीपीआई-एम)

डिप्‍टी चेयरमैन के खिलाफ प्रस्‍ताव खारिज

राज्यसभा के सभापति ने उपसभापति हरिवंश के खिलाफ विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को भी खारिज कर दिया। नायडू ने कहा कि प्रस्ताव उचित प्रारूप में नहीं था। विपक्ष ने एक दिन पहले अपने संशोधनों पर मतविभाजन की मांग ‘‘स्वीकार’’ नहीं किए जाने को लेकर उपसभापति के खिलाफ प्रस्ताव पेश किया था। सभापति नायडू ने कहा कि उपसभापति ने कहा था कि सदस्य अपने स्थानों पर लौट जाएं उसके बाद वह मतविभाजन कराएंगे। उन्होंने कहा कि उनके खिलाफ पेश प्रस्ताव निर्धारित प्रारूप में नहीं है। इसके लिए जरूरी 14 दिनों के समय का भी पालन नहीं किया गया है।

रविवार को जमकर हंगामा हुआ

बता दें कि रविवार को कृषि विधेयकों पर चर्चा के दौरान जमकर हंगामा हुआ। कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के जवाब से असंतुष्ट कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के सांसद वेल में पहुंच गए। हालांकि विपक्ष के हंगामे के बीच नरेंद्र सिंह तोमर जवाब देते रहे। वहीं राज्यसभा में किसान बिल का विरोध कर रहे विपक्षी सांसद ने बिल छीनने की कोशिश की, जिससे उपसभापति का माइक उखड़ गया। हालांकि पास में ही खड़े मार्शल ने उन्हें रोक दिया। इस दौरान विपक्षी दलों के सांसद कृषि बिल के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन करते हुए उपसभापति की चेयर तक पहुंच गए।

माइक को तोड़ दिया, उपसभापति के सामने रूल बुक फाड़ दी

सदन में हंगामा कर रहे सांसदों ने आसन के सामने लगे माइक को तोड़ दिया। तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सांसद डेरक ओ ब्रायन ने उपसभापति के सामने रूल बुक फाड़ दी। इसके बाद राज्यसभा की कार्यवाही स्थगित कर दी गई। वहीं राज्यसभा में रविवार को हंगामे के बाद केंद्रीय मंत्रियों की टीम ने मोर्चा संभाला और प्रेस कॉन्फ्रेंस की। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने किसी का नाम लिए बिना कहा कि जहां तक वह जानते हैं ऐसा राज्यसभा और लोकसभा के इतिहास में कभी नहीं हुआ। राज्यसभा में होने वाली यह बहुत बड़ी घटना है, जो हुआ वह सदन की गरिमा के खिलाफ था।