मुम्बई। भाजपा ने इस बार केंद्र की सत्ता पर एनडीए गठबंधन के साथ सरकार बनाई है, लेकिन अब भी इस सरकार के गिरने के आसार सामने आ रहे हैं। ऐसे में शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे के बयान ने राजनीति को और गरमा दिया है। उन्होंने कहा कि वह उन लोगों का कभी समर्थन नहीं करेंगे जिन्होंने उनकी पार्टी को 'खत्म' करने की कोशिश की है। इससे लोकसभा चुनाव के बाद भारतीय जनता पार्टी के साथ संभावित सुलह की अटकलों पर विराम लग गया है।
शिवसेना के 58वें स्थापना दिवस पर यहां आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए ठाकरे ने कहा कि नौ जून को सत्ता में आई नरेंद्र मोदी सरकार गिर जाएगी और उसकी जगह 'इंडिया' गठबंधन के नेतृत्व वाली सरकार सत्ता में आएगी।
हाल ही में संपन्न लोकसभा चुनाव में भाजपा के प्रदर्शन पर पूर्व मुख्यमंत्री ठाकरे ने कहा कि राष्ट्रीय पार्टी (बीजेपी) यह खबर फैलाकर अपनी विफलता को छिपाने की कोशिश कर रही है कि शिवसेना (यूबीटी) सत्तारूढ़ एनडीए में शामिल हो जाएगी।
भाजपा के साथ दोबारा गठबंधन की अटकलों पर ठाकरे ने कहा, 'हम उन लोगों के साथ कभी नहीं जाएंगे जिन्होंने शिव सेना को नष्ट करने की कोशिश की।' उन्होंने कहा कि जब तक सुप्रीम कोर्ट निचले सदन के कुछ सदस्यों से जुड़ी अयोग्यता याचिकाओं पर अपना फैसला नहीं सुना देता, तब तक विधान परिषद की 11 सीटों के लिए चुनाव नहीं होने चाहिए।
विधान परिषद की 11 सीटों के लिए 12 जुलाई को चुनाव होने हैं। इस चुनाव में
विधायक मतदान करेंगे। ठाकरे ने भाजपा पर हिंदुत्व छोड़ने का आरोप लगाया और
सवाल किया कि क्या राष्ट्रीय पार्टी का क्षेत्रीय दलों टीडीपी और जनता दल
(यू) के साथ गठबंधन स्वाभाविक था। शिवसेना (यूबीटी) अध्यक्ष ठाकरे ने भाजपा
के हिंदुत्व को 'प्रतिगामी' और अपनी पार्टी के हिंदुत्व को 'प्रगतिशील'
बताया।
यहां बता दें कि कल शिव सेना का स्थापना दिवस था। स्थापना
दिवस को शिव सेना के दोनों गुटों (एकनाथ शिंदे और उद्धव ठाकरे) ने अलग-अलग
मनाया है।