जानिए कौन हैं हरिवंश नारायण सिंह, पत्रकार से नेता बनने तक का सफ़र

यूपी के बलिया जिले के रहने वाले हरिवंश नारायण एनडीए की तरफ से राज्यसभा के उपसभापति बन गए हैं। उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार बीके हरिप्रसाद को 125 के मुकाबले 105 वोटों से हरा दिया है। जानिए वरिष्ठ पत्रकार रहे हरिवंश का जीवन परिचय।

हरिवंज नारायण सिंह का जन्म 30 जून 1956 को दलजीत टोला सिताबदियारा में हुआ। हरिवंश ने अपनी प्राथमिक और उच्च प्राथमिक शिक्षा गांव के सटे टोला काशी राय स्थित स्कूल से शुरू की। उसके बाद, जेपी इंटर कालेज सेवाश्रम (जयप्रकाशनगर) से 1971 में हाईस्कूल पास करने के बाद वे वाराणसी पहुंचे। वहां यूपी कॉलेज से इंटरमीडिएट और उसके बाद काशी हिंदू विश्वविद्यालय से स्नातक किया और पत्रकारिता में डिप्लोमा की डिग्री हासिल की।

अप्रैल 2014 में उन्हें राज्यसभा के लिए बिहार से चुना गया। उनका कार्यकाल अप्रैल 2020 में पूरा होगा। हरिवंश को जयप्रकाश नारायण (जेपी) ने सबसे ज्यादा प्रभावित किया। बनारस हिंदू विश्वविद्यालय से पत्रकारिता में डिप्लोमा के दौरान ही वर्ष 1977-78 में टाइम्स ऑफ इंडिया समूह मुंबई में प्रशिक्षु पत्रकार के रूप में उनका चयन हुआ।

इसके बाद वे टाइम्स समूह की साप्ताहिक पत्रिका धर्मयुग में 1981 तक उप संपादक रहे। 1981-84 तक हैदराबाद एवं पटना में बैंक ऑफ इंडिया में नौकरी की और वर्ष 1984 में इन्होंने पत्रकारिता में वापसी की और 1989 अक्तूबर तक आनंद बाजार पत्रिका समूह से प्रकाशित रविवार साप्ताहिक पत्रिका में सहायक संपादक रहे। वे साल 1989 में प्रभात खबर अखबार से जुड़े और काफी समय तक प्रभात खबर अखबार के प्रधान संपादक रहे। बाद में उन्होंने 'मैंने दुनिया देखी' नाम की किताब भी लिखी। पत्रकारिता से राजनीति में आए हरिवंश नारायण सिंह साल 2014 में जेडीयू कोटे से राज्यसभा सांसद बने।

हरिवंश को शिक्षा देने वाले क्षेत्र के सेवानिवृत्त शिक्षक रामकुमार सिंह बताते है कि पढ़ाई के दौरान ही हरिवंश बातें कम करता था लेकिन किसी भी प्रश्न पर तर्क वितर्क अवश्य करता था। जिससे यह विश्वास था कि हरिवंश अवश्य हमारे क्षेत्र सहित देश का नाम करेगा। सुनकर हमें आज गर्व हो रहा है कि वह यहीं के सरकारी स्कूल का छात्र है। इससे आज के युवकों को प्रेरणा लेनी चाहिए।

हाईस्कूल में गणित पढ़ाने वाले सेवानिवृत्त शिक्षक सुरेश कुमार गिरि बड़े गर्व से कहते हैं कि हरिवंश को गणित की शिक्षा हमने दी थी। उस समय भी हरिवंश कक्षा में आगे बैठकर गम्भीरता से मात्र पढाई करने में जुटा रहता था और उस समय भी विद्यालय में सबसे होनहार छात्र के रूप रहा। आज इतने बड़े पद पर होते हुए भी गांव पहुंचते ही अपने गुरुजनों को कभी नहीं भूलता।

सीएम नीतीश कुमार के बेहद करीब

हरिवंश नारायण सिंह के बारे में कहा जाता है कि वह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बेहद करीबी हैं। उनकी जेपी और चंद्रशेखर के साथ भी काफी नजदीकी थी। शायद यहीं वजह है कि नीतीश कुमार उनकी उम्मीदवारी का पुरजोर समर्थन कर रहे हैं।