राजस्थान : कोरोना के साथ मंडराने लगा ब्लैक फंगस का भी खतरा, मिल चुके 1345 मरीज, 50 की गई जान

राजस्थान में इतने समय से कोरोना की दूसरी लहर का कहर मंडरा रहा था जो कि अब शांत होता दिखाई दे रहा हैं। लेकिन कोरोना के बाद अब ब्लैक फंगस (म्यूकरमाइकोसिस) का खतरा मंडराने लगा हैं जो राज्य के सभी 33 जिलों में पहुंच चुका हैं। पूरे प्रदेश में इसके 1345 मामले सामने आ चुके हैं, जबकि 50 मरीजों की मौत भी हो चुकी है। सबसे अधिक 500 केस जयपुर में आए हैं और सर्वाधिक 10 मौतें भी यहीं हुई हैं। हालांकि, प्रदेश में अब तक हुई कुल 50 मौतों में 3 बाहरी राज्यों की हैं।

हालांकि, नोटिफाइड डिजीज यानी महामारी घोषित होने के बाद भी राज्य सरकार कोरोना की तरह इसके आंकड़े जारी नहीं कर रही, जबकि महामारी के आंकड़े राज्य सरकार को रोज जारी करने होते हैं। ब्लैक फंगस इतना खतरनाक है कि नाक, आंख और दिमाग में भी फैल जाता है। डॉक्टरों का कहना है कि यह संक्रमण कोरोना से ठीक हो रहे या ठीक हो चुके मरीजों को अपनी चपेट में ज्यादा ले रहा है। सबसे ज्यादा खतरा डायबिटिक मरीज को स्टेराइड या टोसीलिजुमाब दवाओं का सेवन करने, कैंसर मरीज और कमजोर इम्युनिटी वाले रोगियों को होता है।

राजस्थान में कोरोना संक्रमण आ रहा काबू में, 7 दिन में घटी 55% रफ्तार

राजस्थान में लॉकडाउन सफल होता नजर आ रहा हैं जहां कोरोना का संक्रमण अब काबू में दिखाई दे रहा हैं। हर दिन आने वाले आंकड़ों की रफ्तार में बहुत कमी आई हैं। राज्य में शुक्रवार को 2,648 नए केस मिले हैं, जबकि 11,177 मरीज रिकवर हुए। अच्छी बात ये है कि मरीजों की मौत का आंकड़ा भी एक दिन पहले के मुकाबले थोड़ा कम हुआ है। शुक्रवार को कोरोना से इलाज के दौरान 78 लोगों ने अपनी जान गंवाई हैं। बीते 7 दिन का रिपोर्ट देखे तो नए संक्रमित केस की रफ्तार 55 फीसदी तक की कमी आई है, जबकि मौत की संख्या में 30 फीसदी की गिरावट। राज्य में 17 ऐसे जिले रहे हैं, जहां कोरोना संक्रमितों की संख्या 50 से भी कम रही है।