
भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव और संभावित आतंकी हमलों को देखते हुए, मुंबई के प्रसिद्ध श्री सिद्धिविनायक मंदिर ने एक एहतियाती कदम उठाते हुए मंदिर परिसर में बाहर से नारियल, फूलों की माला और प्रसाद लाने पर अस्थायी रोक लगाने का निर्णय लिया है। मंदिर प्रशासन ने कहा है कि यह निर्णय रविवार को औपचारिक रूप से घोषित किया जाएगा और उसी दिन से लागू भी कर दिया जाएगा। यह फैसला मुंबई पुलिस की ओर से जारी सुरक्षा एडवाइजरी के आधार पर लिया गया है।
ट्रस्ट का मानना है कि नारियल या प्रसाद में विस्फोटक छुपाया जा सकता है, जिससे मंदिर और श्रद्धालुओं की सुरक्षा को खतरा हो सकता है। मंदिर ट्रस्टी भास्कर शेट्टी के अनुसार, पुलिस ने सुरक्षा की दृष्टि से नारियल और अन्य प्रसाद पर रोक लगाने का निर्देश दिया है। श्री सिद्धिविनायक गणपति मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष सदा स्वर्णकार ने बताया कि प्रतिदिन हजारों लोग मंदिर में दर्शन के लिए आते हैं, और यह स्थान आतंकियों की हिट लिस्ट में शामिल हो सकता है। इसी कारण हाल ही में एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के साथ ट्रस्ट की बैठक हुई थी।
उन्होंने बताया कि सुरक्षा एजेंसियों ने यह भी स्पष्ट किया है कि नारियल की आड़ में विस्फोटक सामग्री मंदिर में प्रवेश कर सकती है, जिसे स्कैनर पकड़ नहीं पाते। इसी प्रकार प्रसाद में ज़हर होने की संभावना भी जताई गई है। इसलिए फिलहाल मंदिर में फूलों की माला और नारियल चढ़ाने की अनुमति कुछ समय के लिए स्थगित की जा रही है।
स्वर्णकार ने बताया कि भारत-पाकिस्तान के बीच मौजूदा हालात को देखते हुए यह कदम केवल अस्थायी रूप से उठाया गया है। मंदिर प्रशासन ने फूल विक्रेताओं से बात की है, जिन्होंने 11 मई तक यह फैसला लागू करने की अनुमति मांगी है ताकि वे अपना मौजूदा स्टॉक निपटा सकें।
शिवसेना के पूर्व विधायक सदा स्वर्णकार ने यह भी कहा कि ट्रस्ट यह कोशिश कर रहा है कि भक्तों को मंदिर परिसर में ही फूल और दूर्वा घास उपलब्ध कराई जा सके, जिससे वे भगवान को अर्पित कर सकें। श्रद्धालुओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए, ट्रस्ट ने सशस्त्र बलों से सेवानिवृत्त 20 जवानों की भर्ती का फैसला किया है, जो हथियारों से लैस होंगे। उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना ट्रस्ट और पुलिस दोनों की प्राथमिक जिम्मेदारी है।