असम बाढ़: काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान और टाइगर रिजर्व के 61 वन शिविर प्रभावित

नई दिल्ली। सोमवार को एक आधिकारिक रिपोर्ट में कहा गया कि बढ़ते जल स्तर ने असम के काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान और टाइगर रिजर्व के 233 वन शिविरों में से 26 प्रतिशत को प्रभावित किया है। पूर्वी कार्बी आंगलोंग जिले में ऊंचे इलाकों की तलाश में जानवर राष्ट्रीय राजमार्ग-715 को पार कर दक्षिण दिशा की ओर जा रहे हैं।

आधिकारिक रिपोर्ट के अनुसार, काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान और टाइगर रिजर्व में कुल 61 वन शिविर जलमग्न हैं, जिनमें अगोराटोली रेंज में 22, काजीरंगा में 10, बागोरी में आठ, बुरहापहाड़ रेंज में पांच, बोकाखाट में छह और विश्वनाथ वन्यजीव प्रभाग में 10 शिविर शामिल हैं।

पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, वन्यजीव आवास के जलमग्न होने के कारण जानवर अधिक ऊंचाई की तलाश में पूर्वी कार्बी आंगलोंग जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग-715 को पार कर दक्षिण दिशा की ओर पलायन कर रहे हैं।

बाढ़ या राजमार्ग पार करते समय दुर्घटना के कारण किसी भी पशु की मृत्यु अभी तक दर्ज नहीं की गई है। रविवार को गोलाघाट जिला प्रशासन ने एनएच-715 पार करने वाले पशुओं की सुरक्षा के लिए सीआरपीसी की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा जारी की।

राष्ट्रीय उद्यान से होकर गुजरने वाले एनएच-715 पर यातायात को नियंत्रित करने के लिए आदेश जारी किए गए हैं, जो सोमवार से प्रभावी हो गए हैं। आदेश के अनुसार, किसी भी व्यावसायिक वाहन को काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान से गुजरने की अनुमति नहीं है। हालांकि, दिन के समय निजी वाहनों को नियंत्रित गति से गुजरने की अनुमति होगी तथा रात के समय केवल स्थानीय निजी वाहनों को ही अनुमति होगी।

गोलाघाट के जिला मजिस्ट्रेट विवेक श्याम पंग्योक ने कहा, सक्रिय बाढ़ के दौरान वाहनों का चलना अनावश्यक जोखिम को बढ़ाता है तथा जंगली जानवरों के लिए खतरा पैदा करता है।

पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, आदेश में वाणिज्यिक और निजी दोनों प्रकार के वाहनों के लिए डायवर्जन पॉइंट का उल्लेख किया गया है। एएनआई के अनुसार, असम में बाढ़ की स्थिति ने रविवार तक 12 जिलों में 2.62 लाख से अधिक लोगों को प्रभावित किया है और मरने वालों की संख्या 34 हो गई है। बाढ़ प्रभावित जिलों में प्रशासन द्वारा स्थापित 52 राहत शिविरों और वितरण केंद्रों में लगभग 23,000 लोग शरण ले रहे हैं।

भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) ने असम के लिए रेड अलर्ट जारी किया है और मंगलवार तक भारी बारिश की भविष्यवाणी की है। असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्य को बाढ़ से निपटने के लिए हरसंभव सहायता देने का आश्वासन दिया है।