ईरान 5 साल में बन जाएगा परमाणु देश... अमेरिकी हमले के बाद असदुद्दीन ओवैसी का तीखा हमला, उठाए कई बड़े सवाल

अमेरिका द्वारा शनिवार की देर रात ईरान पर किए गए जबरदस्त सैन्य हमले के बाद देश-विदेश में राजनीतिक प्रतिक्रिया तेज हो गई है। इसी कड़ी में AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने अमेरिका पर गंभीर सवाल उठाते हुए उसकी मंशा पर ही उंगली उठा दी है। उन्होंने पाकिस्तान को भी नहीं बख्शा और जमकर लताड़ लगाई। ओवैसी ने कहा कि अमेरिका द्वारा ईरान की न्यूक्लियर साइट्स पर हमला करना अंतरराष्ट्रीय कानून और संयुक्त राष्ट्र चार्टर का खुला उल्लंघन है, जिसे किसी भी सूरत में जायज नहीं ठहराया जा सकता।

अमेरिका का हमला और ईरान की परमाणु महत्वाकांक्षा


दुनिया की सबसे बड़ी ताकत माने जाने वाले अमेरिका ने हमेशा यह दावा किया है कि वह ईरान को परमाणु शक्ति बनने से रोकेगा। इसी नीति के तहत अमेरिका ने फार्डो, नतांज और इस्फहान स्थित ईरान की तीन न्यूक्लियर साइट्स पर हमला बोला। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जोर देकर कहा कि उन्होंने इन तीनों ठिकानों को पूरी तरह नष्ट कर दिया है।

“5 से 10 साल में ईरान परमाणु देश बन जाएगा” - ओवैसी

इस हमले पर प्रतिक्रिया देते हुए असदुद्दीन ओवैसी ने बेहद गंभीर बात कही। उन्होंने कहा, मुझे पूरा विश्वास है कि इस तरह के हमलों से ईरान को रोका नहीं जा सकता, बल्कि वो अब और तेज़ी से परमाणु शक्ति की ओर बढ़ेगा। आने वाले 5 से 10 वर्षों में ईरान खुद को एक परमाणु राष्ट्र घोषित कर सकता है। उन्होंने आशंका जताई कि हो सकता है ईरान ने पहले से ही अपने न्यूक्लियर स्टॉक को किसी सुरक्षित स्थान पर शिफ्ट कर दिया हो।

अरब देश भी ले सकते हैं परमाणु रास्ता

ओवैसी ने चेताया कि अमेरिका के इस कदम के बाद कई अरब देशों में यह सोच गहराने लगेगी कि उन्हें भी अपनी सुरक्षा के लिए परमाणु शक्ति हासिल करनी चाहिए। अगर उन्हें इजराइल जैसे देशों से बचना है, तो न्यूक्लियर डिफेंस जरूरी हो सकता है।

अमेरिका की रणनीति पर उठाए सवाल

गाजा में जारी हिंसा और इजराइल-हमास संघर्ष पर भी ओवैसी ने अमेरिका को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि अमेरिका की नीति सिर्फ इजराइली अत्याचारों पर पर्दा डालने की है। गाजा में जो हो रहा है वो नरसंहार है, और दुनिया खामोश तमाशबीन बनी हुई है। उन्होंने सवाल उठाया कि कोई यह क्यों नहीं पूछ रहा कि इजराइल के पास कितने न्यूक्लियर वॉरहेड्स हैं?

भारत सरकार से उम्मीद जताई

AIMIM प्रमुख ने भारत सरकार से उम्मीद जताई कि वह अमेरिका द्वारा ईरानी परमाणु ठिकानों पर की गई बमबारी की सार्वजनिक रूप से निंदा करेगी। उन्होंने दोहराया कि यह हमला न केवल एकतरफा है, बल्कि अंतरराष्ट्रीय कानूनों का घोर उल्लंघन भी है।

पाकिस्तान को सुनाई खरी-खरी

ओवैसी ने पाकिस्तान को भी आड़े हाथों लेते हुए कहा कि क्या ट्रंप को इसलिए नोबेल शांति पुरस्कार देने की सिफारिश की जा रही है क्योंकि उसने अंतरराष्ट्रीय कानूनों का मज़ाक उड़ाया है? क्या पाकिस्तान के सेना प्रमुख असीम मुनीर ने ट्रंप के साथ लंच इसलिए किया था? ओवैसी ने तंज कसते हुए कहा कि आज ये सभी चेहरे बेनकाब हो चुके हैं।