बच्चों में हठ करने की आदत बचपन से ही हो सकती है। यह हरकत अगर एक या दो बार हो तो सही है। लेकिन अगर बात बात पर गुस्सा करना बच्चों की आदत बन जाए तो यह जिद का रूप ले सकती है। ऐसे में माता-पिता को समय रहते बच्चों की आदत को बदलना जरूरी है। अगर समय रहते इस आदत को ना बदला गया तो बड़े होकर यह आदत उनके भविष्य को भी नकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकती है। कई बार उनके छोटी-छोटी डिमांड्स आदत में शुमार हो जाती हैं, जो जिद का रूप ले लेती हैं। ऐसे में प्यारे और भोले बच्चे मां-बाप को सिरदर्द लगने लगते हैं। इन्हें हैंडल करना माता-पिता के लिए चुनौती बन जाता है। ऐसे ही जिद्दी बच्चों को समझाने के तरीके और टिप्स के बारे में हम आपको इस लेख में बताएंगे।
बच्चों के जिद्दी होने का कारण क्या है ?बच्चों के जिद्दीपन से कई माता-पिता परेशान होते हैं और उन्हें ठीक करने के लिए कई जतन भी करते हैं, लेकिन उनका जिद्दीपन दिनों-दिन बढ़ता ही जाता है। ऐसे में सबसे पहले मां-बाप के लिए यह जान लेना जरूरी है कि उनका बच्चा जिद्दी हुआ क्यों है। बच्चे के जिद्दी होने के पीछे का मुख्य कारण कोई शारीरिक समस्या, भूख लगना या फिर अपनी ओर सबका आर्कषण खींचना हो सकता है। इनके अलावा, बच्चे के जिद्दी होने का कारण पारिवारिक परिवेश, लाड-प्यार, डांट-फटकार, अनावश्यक दबाव डालना आदि भी हो सकता है। ये सभी कारण बच्चों के दिमाग पर बुरा असर डालते हैं, जिससे वो जिद्दी बनने लगते हैं। साथ ही कुछ बच्चों का मानसिक विकास इतनी तेजी से होता है कि उन्हें लगने लगता है कि वो सब कुछ कर सकते हैं। इस वजह से वो हर छोटी-बड़ी बात पर जिद करने लगते हैं।
जिद्दी बच्चों के लक्षण
अलग अलग बच्चों में अलग-अलग जिद्द करने के लक्षण हो सकते है जो निम्न है...
- बच्चे का चिड़चिड़ा स्वभाव
- छोटी बातों पर गुस्सा करना
- सबसे अलग रहना
- हर बात पर बहस करना
- अपने आसपास असामान्य स्थिति पैदा करना
- सबसे दुर्व्यवहार करना
- हर किसी की बुराई करना
- किसी पर भी भरोसा ना कर पाना
- हमेशा अपनी बात को ही महत्व देना
जिद्दी बच्चे को कैसे संभाले
अगर आपका बच्चा जिद्दी हो गया है तो उसे समय रह्ते ही संभालना चाहिए। क्योंकि अगर इस पर समय रहते ध्यान नहीं दिया गया तो भविष्य में इसके परिणाम काफी बुरे हो सकते है।
बच्चों की हर जिद को न करें पूरी बच्चों की एक-दो जिद पूरी करना आम बात है लेकिन हर बार उसकी जिद पूरी करने से उसकी आदत बिगड़ सकती है। ऐसे में बच्चे की जिद को पूरा करने से बचें। अगर किसी चीज को ज्यादा ही जिद कर रहा है तो सबसे पहले उसके पीछे का कारण जानें और उसके बाद यह निर्णय लें कि उसको पूरी करना है या नहीं।
बच्चें को समय दे बच्चे की जिद करने के पीछे एक कारण यह भी है कि बच्चा कई बार अकेलेपन के कारण भी जिद्दी हो जाता है। ऐसे में बच्चे को उचित समय देना जरूरी है। अगर आप किसी काम में व्यस्त है। साथ ही अपने बच्चे के साथ ज्यादा से ज्यादा समय बिताए। माता-पिता की जिम्मेदारी है कि वह पर्सनल और प्रोफेशनल लाइफ को अलग रखें। साथ ही अपने घर का माहौल भी खुशनुमा रखें।
छोटी-छोटी बातों पर करें तारीफ़ समय-समय पर बच्चों की तारीफ करना भी जरूरी है। ऐसा करने से बच्चे न केवल में आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित होंगे बल्कि वे कुछ नया करने के लिए प्रेरित भी होंगे। ऐसे में आप बच्चों की छोटी-छोटी बातों पर तारीफ करें।
धैर्य से काम ले अगर बच्चा आपकी बात नहीं सुन रहा है और वह आप से बहस कर रहा है तो गुस्सा करने की बजाय शांत रहें और बच्चों को प्यार से समझाएं। अगर आप बच्चे को डांटेंगे तो वह और ज्यादा जिद करेगा और आपकी बात नहीं मानेगा। ऐसे में बच्चे के साथ धैर्य के साथ काम लेना जरूरी है।