मनाली : दिल को लुभाएगी हिल स्टेशन की खूबसूरती, ले सकते हैं साहसिक खेलों का मजा, देखें...

मनाली भारत के हिमाचल प्रदेश प्रान्त का एक शहर है। मनाली कुल्लु घाटी के उत्तर में स्थित हिमाचल प्रदेश का लोकप्रिय हिल स्टेशन है। समुद्र तल से 1950 मीटर की ऊंचाई पर स्थित मनाली व्यास नदी के किनारे बसा है। गर्मियों से सुकून पाने के लिए इस हिल स्टेशन पर हजारों की तादाद में लोग आते हैं। सर्दियों में यहां का तापमान माइनस डिग्री में पहुंच जाता है। आप यहां के खूबसूरत प्राकृतिक दृश्यों के अलावा मनाली में हाइकिंग, पैराग्लाइडिंग, राफ्टिंग, ट्रैकिंग, कायकिंग जैसे खेलों का भी आनंद उठा सकते हैं। ऐसा माना जाता है कि मनु इसी जगह पर जीवन के सात चक्रों में बने और मिटे थे। मनाली की हिंदू धर्म में काफी मान्यता है जिसे जीवन के 7 चक्रों रिवर्स सेज से सम्बन्धित माना जाता है।


रोहतांग पास

बर्फ से ढका यह दर्रा (पास) लेह राजमार्ग पर स्थित है और यह पास प्रत्येक वर्ष केवल जून से अक्टूबर माह में खुला रहता है। समुद्रतल से इसकी ऊंचाई 3979 मीटर है। यहां से ग्लेशियर, हिमालय की चोटियों और नदी का खूबसूरत दृश्य दिखाई देता है। यह रास्ता लाहौल, स्पीति, पांगी और लेह जाने का प्रवेशद्वार है। बढ़ती लोकप्रियता के कारण टूरिस्ट सीजन में रोहतांग मार्ग अक्सर पर्वतारोही पर्यटकों से भरा रहता है। पर्यटकों के लिए स्कीइंग और पास (दर्रे) पर स्लेजिंग (बर्फ पर चलने वाली गाड़ी) और खुबसूरत तस्वीरों को कैद करने के बहुत से विकल्प मौजूद होते हैं।


हिडिम्बा मंदिर

समुद्र तल से 1533 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह मंदिर धूंगरी मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। मंदिर यहां की स्थानीय देवी हिडिम्बा को समर्पित है। हिडिम्बा महाभारत में वर्णित भीम की पत्नी थी। मई के महीने में यहां एक उत्सव मनाया जाता है। महाराज बहादुर सिंह ने यह मंदिर 1553 ई. में बनवाया था। लकड़ी से निर्मित यह मंदिर पैगोड़ा शैली में बना है।


सोलंग नाला

मनाली से लगभग 13 किलोमीटर दूर स्थित, यह खूबसूरत वैली एडवेंचर, खेल और स्कीइंग के लिए बेहद ही मशहूर है। सोलंग घाटी ब्यास नदी और सोलंग विलेज के बीच में स्थित है। यहां से बर्फ से ढके पहाड़ और ग्लेशियर का खूबसूरत नज़ारा दिखाई देता है। गर्मियों में यहां पैराग्लाइडिंग, ज़ोरबिंग (चक्र), माउंटेन बाइकिंग (पहाड़ो पर बाइक चलाना) और घुड़सवारी का लुत्फ उठा सकते हैं।

सर्दियों के मौसम में विशेषकर जनवरी और मार्च के बीच में यहां स्कीइंग, स्नोबोर्डिंग और स्लेजिंग का भी आनंद उठा सकते हैं। यहां सर्दियों में स्कीइंग फेस्टिवल का आयोजन किया जाता है। पर्वातारोहण निदेशालय और एलाइड स्पोर्ट के अंतर्गत स्कीइंग के मध्यवर्ती पाठ्यक्रम को आयोजित करता है। जिन्हें एडवेंचर थोड़ा कम चाहिए उनके लिए यहां ट्रेकिंग के लिए कई रास्ते हैं।


मणिकरण

समुद्र तल से 1700 मीटर की ऊंचाई पर स्थित मणिकरण गर्म पानी का झरना है। कहा जाता है शिव की पत्नी पार्वती के कर्णफूल यहां खो गए थे। उसके बाद से इस झरने का जल गर्म हो गया। हजारों लोग यहां के जल में पवित्र डुबकी लगाने दूर-दूर से आते हैं। यहां का पानी इतना गर्म है कि इसमें चावल, दाल और सब्जियों को उबाला जा सकता है।


अर्जुन गुफा

कहा जाता है महाभारत के अर्जुन ने यहां तपस्या की थी। इसी स्थान पर इन्द्रदेव ने उन्हें पशुपति अस्त्र प्रदान किया था।


नाग्गर किला

जो मनाली के दक्षिण में स्थित है, पाल साम्राज्य का स्मारक है। चट्टानों, पत्थरों और लकड़ियों के विस्तृत कढ़ाईयों से बना यह हिमाचल के समृद्ध और सुरुचिपूर्ण कलाकृतियों का सम्मिश्रण है। इस किले को बाद में एक होटल में परिवर्तित कर दिया गया।


मनाली यहां होने वाली साहसिक गतिविधियों के कारण भी जाना जाता है। यहां कई साहसिक गतिविधियों का आयोजन समय-समय पर किया जाता है जैसे-पर्वतारोहण, माउंटेन बाइकिंग, नदी राफ्टिंग, ट्रैकिंग, जॉरविंग और पैराग्लाइडिंग। मनाली में माउंटेन बाइकिंग भी की जा सकती है लेकिन यहां बाइकिंग करने का अच्छा और उचित समय सितम्बर के महीने में होता है।

इस दौरान सड़कों पर बर्फ जमा नहीं होती है और गाड़ी फिसलने का डर नहीं रहता है। यहां आने वाले पर्यटकों को किसी भी प्रकार की असुविधा नहीं होगी क्योंकि यह शहर यातायात के सभी साधनों से पूर्णत: जुड़ा हुआ है। मनाली का मौसम सालभर काफी सुखद रहता है लेकिन पर्यटक यहां मार्च से जून के दौरान आना ज्यादा पसंद करते है।